एसएमसी टीचर्ज बोले, हमारा क्या होगा

By: May 24th, 2017 12:05 am

नाहन —  जिला के विभिन्न स्कूलों में तैनात एसएमसी अध्यापकों ने प्रदेश सरकार से क्लॉज-9 को समाप्त करने तथा अपने लिए स्थाई नीति बनाने की मांग की है। एसएमसी अध्यापकों का कहना है कि स्थायी नीति न होने के कारण वह सभी अपने भविष्य को लेकर शंकित हैं, जिसके चलते उनकी शंका का शीघ्र समाधान किया जाना चाहिए। प्रेस को दिए बयान में भारती शर्मा, सविता, रश्मि, शिल्पा, शीतल पंवार, पंकज, राजीव, सूरज, प्रमोद कुमार, अंजू शर्मा, आकांक्षा आदि ने बताया कि मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह ने एसएमसी अध्यापकों को उनके लिए स्थाई नीति बनाने का आश्वासन दिया था जो कि आज भी पूरा नहीं हुआ है। इससे एसएमसी अध्यापकों में अपने भविष्य को लेकर दहशत का माहौल है। उन्होंने कहा कि एसएमसी अध्यापक कम वेतन में जिला के दुर्गम क्षेत्रों में शिक्षा की अलख जलाए हुए हैं। वह एक नियमित अध्यापक जितना ही कार्य कर रहे हैं बावजूद इसके उनके लिए न तो कोई नीति है और न ही उन्हें सही वेतन दिया जा रहा है। हैरत की बात यह है कि वह स्कूली बच्चों का भविष्य संरक्षित करने का कार्य कर रहे हैं, जबकि उनका खुद का भविष्य असुरक्षित है। एसएमसी अध्यापकों ने बताया कि क्लॉज-नौ लगा होने के कारण वह हमेशा डर की स्थिति में रहते हैं कि क्या पता कब कोई स्थाई अध्यापक स्कूल में आ जाए और उनकी नौकरी समाप्त हो जाए। उन्होंने कहा कि हालांकि प्रदेश मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह ने एसएमसी संघ को आश्वासन दिया है कि स्कूलों में तैनात एसएमसी अध्यापकों के स्थान पर किसी स्थाई अध्यापक को नहीं भेजा जाएगा, बावजूद इसके वह अपने भविष्य को लेकर चिंतित हैं क्योंकि प्रदेश से अभी भी क्लॉज-9 को समाप्त नहीं किया गया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के मुख्यमंत्री हमेशा से कर्मचारियों के हितैषी रहे हैं। ऐसे में उन्हें एसएमसी अध्यापकों के लिए स्थाई नीति बनाकर उन्हें राहत प्रदान करनी चाहिए।

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