अर्की से बेरोजगारी भगाए नई सरकार

By: Dec 2nd, 2017 12:40 am

इस बार सियासत का केंद्र बिंदु रहा अर्की विधानसभा क्षेत्र खस्ताहाल सड़कों और बढ़ती बरोजगारी से तंग आ चुका है। कहने को तो यहां दो-दो सीमेंट काखाने हैं, पर नौजवान हाथों में काम नहीं। जनता चाहती है कि यहां पर्यावरण मित्र उद्योग लगा युवा पीढ़ी की तकदीर बदली जाए। हिचकोले खाती सड़कों को चकाचक किया जाए। साथ ही कुनिहार की प्रसिद्ध शिव तांडव गुफा, अर्की का लुटरू-मुटरू महादेव, पांडवों के समय से प्रसिद्ध बाड़ी की धार व झरनों को पर्यटन के लिहाज से निखारा जाए…

सोलन – अर्की निर्वाचन क्षेत्र के 84 हजार मतदाताओं को नई सरकार से उम्मीद है कि यहां के हजारों बेरोजगारों को रोजगार मिले, ताकि वह अपने पैरों पर खड़ा हो सकें। जनता चाहती है कि अर्की क्षेत्र की सड़कों की खस्ताहालत में सुधार हो, अस्पतालों में डाक्टर हों तथा खेलों के लिए राष्ट्रीय स्तर का स्टेडियम बने। प्रदेश में राजनीति का केंद्र बिंदु रहे अर्की निर्वाचन क्षेत्र में सड़कों की हालत इतनी खस्ता है कि लोगों को स्वतंत्रता से पूर्व की यादें ताजा हो जाती हैं।  अर्की उपमंडल में अंबुजा सीमेंट फैक्टरी व अल्ट्राटेक (जेपी) सीमेंट कंपनियां स्थापित हैं। इन कंपनियों में पांच हजार से भी ऊपर ट्रक संचालित हैं। सड़कों की हालत इतनी बुरी है कि आधे घंटे का सफर एक घंटे में पूरा होता है। जगह-जगह गड्ढे पडे़ हैं तथा कई जगह सड़क के नामों निशान तक मिट चुके हैं। अर्की में वाहनों की पंजीकरण संख्या में लगातार इजाफा होता जा रहा है। औसतन यहां दो वाहन प्रतिदिन पंजीकृत होते हैं। हजारों ट्रकों की आवाजाही के कारण अर्की की सड़कों पर सफर करना जोखिमपूर्ण कार्य हो गया है। संबंधित विभाग यदि कहीं पर थोड़ा मरम्मत कार्य करवाता भी है तो चंद दिनों में ही वह सड़क टूट जाती है। अब नई सरकार से जनता को आस है कि अर्की में बढ़ते अंधाधुंध ट्रैफिक की वजह से सड़कों की चौड़ाई बढ़ाने के साथ-साथ गुणत्तापूर्ण टायरिंग भी की जाए। अर्की क्षेत्र का अन्य प्रमुख मुद्दा बेरोजगारी का है। जितनी भी सरकारें अभी तक आई हैं, अर्की के बेरोजगारों को काम देने के कोई प्रयास नहीं हुए। इस क्षेत्र के युवाओं को रोजगार देने के नाम पर महज कोरे आश्वासन ही मिले। यहां के युवाओं की मांग है कि अर्की निर्वाचन क्षेत्र में कई ऐसे बड़े पर्यावरण पे्रमी उद्योगों की स्थापना की जाए, जहां कोई भी हाथ निठल्ला न रहे। प्रदेश में संभवतः अर्की ही एक ऐसा इलाका है, जहां पर सरकारी क्षेत्र में न कोई पोलीटेक्नीक, न ही नर्सिंग, मेडिकल, इंजिनियरिंग इत्यादि कोई तकनीकी संस्थान हैं। यहां तक कि खिलाडि़यों को अपनी खेल प्रतिभा को निखारने के लिए नामी स्टेडियम तक उपलब्ध नहीं है। अर्की क्षेत्र में पर्यटन की अपार संभावनाएं हैं। कुनिहार की प्रसिद्ध शिव तांडव गुफा, अर्की का लुटरू महादेव, मुटरू महादेव, पांडवों के समय से प्रसिद्ध बाड़ी का धार व दर्जनों प्राकृतिक झरने बरबस ही सैलानियों का दिल मोह लेते हैं। जनता को नई सरकार से आस है कि अर्की क्षेत्र को पर्यटन की दृष्टि से विकसित किया जाए, ताकि स्वरोजगार के साधन यहां उपलब्ध हो सकें।

ये काम हो जाएं तो पूरी हो आस

  1. सड़कों की खस्ता हालत में हो सुधार
  2. कुनिहार की शिव तांडव गुफा, अर्की का लुटरू महादेव व पांडवों के समय का प्रसिद्ध बाडी की धार बनें पर्यटन स्थल
  3. सरकारी क्षेत्र में नर्सिंग व पोलीटेक्नीक
  4. सरकारी क्षेत्र में इंजिनियरिंग या मेडिकल कालेज खोले जाएं
  5. अर्की, कुनिहार, दाड़लाघाट, भूमती व धुंधन जैसे प्रमुख अस्पतालों में डाक्टर व अन्य स्टाफ

      6.क्षेत्र की जनता को स्वच्छ पेयजल उपलब्ध हो

      7.विशाल स्टेडियम का निर्माण हो

  1. सीमेंट कंपनियों से होने वाले प्रदूषण से जनता को निजात मिले
  2. अर्की निर्वाचन क्षेत्र में पांच बड़े गोसदन बनाए जाएं

     10.रोजगार देने के लिए नामी कंपनियों व उद्योगों की स्थापना हो


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