315 बीघा जमीन रेलवे के नाम, अब टेंडर जल्द

By: Apr 13th, 2018 12:20 am

भानुपल्ली-बिलासपुर-बैरी-बरमाणा रेल लाइन

बिलासपुर— बिलासपुर जिला की पंजाब से सटी सीमा पर शीघ्र ही रेलवे लाइन बिछाने के लिए प्रक्रिया आरंभ की जाएगी। सर्वे के तहत सीमावर्ती क्षेत्र के 10 किलोमीटर एरिया में चिन्हित 10 गांवों की 315 बीघा जमीन रेलवे विभाग के नाम हो चुकी है। जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया पूरी करने के बाद प्रभावितों को मुआवजा राशि के चेक बांटने की कवायद शुरू की गई है, जिसके तहत अभी तक 6 गांवों के 99 प्रभावितों को मुआवजा राशि प्रदान की जा चुकी है। अब शेष चार गांवों के प्रभावितों को भी जल्द ही मुआवजा राशि के चेक बांटने की प्रक्रिया पूरी की जाएगी। कार्य शुरू करने के लिए जल्द ही रेलवे विकास निगम टेंडर आमंत्रित करेगा। नायब तहसीलदार (रेलवे) सुंदरलाल रनोट ने बताया कि गुरूवार को तीन गांवों के 29 प्रभावितों को कोटखास पंचायत में एसडीएम सदर प्रियंका वर्मा द्वारा  मुआवजा राशि के चेक बांटे गए हैं, जिसके तहत कोटखास के छह प्रभावितों को 84.36 लाख रुपए, झीड़ा के आठ प्रभावितों को 2.02 करोड़ रुपए और बेहरड़ा के 15 प्रभावितों को 1.52 करोड़ रुपए की राशि प्रदान की गई है। इस मौके पर कानूनगो जीतराम शर्मा, प्रेमलाल, नायब तहसीलदार स्वारघाट दौलतराम ठाकुर और रेलवे विकास निगम चंडीगढ़ की ओर से सीनियर इंजीनियर (वर्क्स) नरेश कुमार भी उपस्थित रहे। सुंदरलाल के अनुसार इसके बाद शेष चार गांवों के प्रभावितों को भी जल्द ही मुआवजा राशि के चेक बांटे जाएंगे। उन्होंने बताया कि उम्मीद है कि अब शीघ्र ही सीमांत क्षेत्र में रेलवे लाइन बिछाने की कवायद आरंभ होगी। यह कार्य 10 किलोमीटर एरिया में पूरा किया जाएगा और उसके बाद सर्वेक्षण के तहत आगे का कार्य चलेगा। इस तरह सर्वेक्षण के आधार पर इस कार्य को चरणबद्ध तरीके से पूरा किया जाएगा। उल्लेखनीय है कि सामरिक दृष्टि से अत्यंत महत्त्वपूर्ण भानुपल्ली-बिलासपुर-बैरी-बरमाणा रेलवे लाइन को लेकर प्रोसेस शुरू हो चुका है। सीमांत क्षेत्र के 10 किलोमीटर एरिया में रेल पटरी निर्माण के लिए चिन्हित किए गए 10 राजस्व गांवों के प्रभावित लोगों को मुआवजा राशि प्रदान की जा रही है।

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