अब होगा आतंकियों का खात्मा

By: Jun 18th, 2018 12:08 am

जम्मू-कश्मीर में नहीं बढ़ा सीजफायर, शुरू होगा आपरेशन आलआउट

नई दिल्ली – रमजान के महीने में जम्मू-कश्मीर में लागू किए गए सीजफायर को आगे नहीं बढ़ाया गया है। केंद्रीय गृह मंत्रालय ने इसकी घोषणा करते हुए सेना को आतंकियों के खिलाफ चल रहे आपरेशन को पहले की तरह चलाने का आदेश दिया है। आपको बता दें कि भारत सरकार ने रमजान के पवित्र महीने के दौरान कश्मीर में सीजफायर की घोषणा की थी। हालांकि इस बीच कश्मीर में आतंकी हमलों की संख्या में काफी इजाफा हुआ था। आतंकियों ने सेना को तो निशाना बनाया ही, पिछले दिनों राइजिंग कश्मीर के संपादक शुजात बुखारी की हत्या भी कर दी गई थी। इसके बाद से ही केंद्र सरकार के इस फैसले की काफी आलोचना हो रही थी। अब ईद के बाद दिल्ली में हुई बैठक में केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने इस सीजफायर को आगे नहीं बढ़ाने का फैसला किया है। राजनाथ सिंह ने ट्वीट कर कहा है कि रमजान के दौरान सीजफायर के इस फैसले की चौतरफा तारीफ हुई थी। मुस्लिम भाइयों और बहनों को शांतिपूर्ण तरीके से रमजान मनाने के लिए सुरक्षाबलों ने सरकार के फैसले को जैसे लागू किया, हम उसकी सराहना करते हैं। उन्होंने लिखा कि यह फैसला जम्मू-कश्मीर के साथ-साथ पूरे देश के लोगों की तरफ से सराहा गया और आम नागरिकों के लिए राहत लेकर आया। यह उम्मीद की गई थी कि हर कोई इस पहल की सफलता सुनिश्चित करने में सहयोग करेगा। सुरक्षा बलों ने इस अवधि के दौरान अनुकरणीय संयम प्रदर्शित किया, जबकि आतंकवादियों ने अपने हमले जारी रखे, जिसके परिणामस्वरूप मृत्यु और चोटें हुईं। केंद्रीय गृह मंत्री ने आगे लिखा कि सुरक्षा बलों को निर्देश दिया जाता है कि वे आतंकियों को हमलों, हिंसा और हत्याओं से रोकने के लिए सभी जरूरी कदम उठाएं। उन्होंने कहा कि भारत सरकार हिंसा और आतंक मुक्त जम्मू-कश्मीर के अपने लक्ष्यों पर कायम है। उधर, कांग्रेस ने कश्मीर नीति के मामले में केंद्र सरकार पर विफलता की तोहमत मढ़ते हुए रविवार को कहा कि सरकार को इस मुद्दे पर सर्वदलीय बैठक बुलानी चाहिए। कांग्रेस प्रवक्ता पवन खेड़ा ने कहा कि कश्मीर ‘क्षेत्र’ का मुद्दा है, लेकिन भारतीय जनता पार्टी नीत केंद्र सरकार ने इसे सांप्रदायिक रंग दे दिया है। उन्होंने आरोप लगाया है कि कश्मीर पर केंद्र सरकार की नीति भाजपा की सांप्रदायिक नीति है। कश्मीर को लेकर सरकार की नीति की विफलता विदेश नीति की भी असफलता है। उन्होंने कहा कि इतिहास में पहली बार कश्मीर पर संयुक्त राष्ट्र की एक ‘गंदी और एकतरफा’ रिपोर्ट सामने आई और सरकार कुछ नहीं कर सकी। उन्होंने कहा कि इस रिपोर्ट का तैयार होना और इसका जारी होना सरकार की विदेश नीति की असफलता है। कश्मीर में आतंकवादियों के विरुद्ध अभियान को रोकने का फैसला सरकार का था।  इसमें किसी के साथ परामर्श नहीं किया गया। पिछले 27 दिन में 57 हमले हुए हैं। अब उस फैसले को वापस लेने का निर्णय भी सरकार ने ले लिया है।


Keep watching our YouTube Channel ‘Divya Himachal TV’. Also,  Download our Android App