राजस्थान विधानसभा चुनाव में त्रिशंकु जनादेश के आसार

By: Jul 29th, 2018 12:02 am

जयपुर— राजस्थान में पांच माह बाद होने जा रहे विधानसभा चुनाव को लेकर सभी पार्टियों में कमर कस ली है। चुनाव पूर्व अध्ययन के अनुसार राजस्थान विधानसभा की 200 सीटों में कांग्रेस को 92 सीटें मिलने का अनुमान है। इस प्रकार 21वीं शताब्दी में दूसरी बार विधानसभा चुनाव में त्रिशंकु जनादेश की स्थिति बन रही है। नवीनतम अध्ययन के अनुसार राजस्थान में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी को पांच साल की शासन विरोधी लहर के कारण 76 सीट मिलने के आसार हैं। वहीं बहुजन समाज पार्टी, जमीदारा पार्टी व मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी आदि अन्य दलों को 32 सीट मिलने की उम्मीद है। सन् 2013 में भाजपा ने 163 सीटें और कांग्रेस ने 21 सीटें जीतीं थी। अध्ययन के अनुसार इस बार भाजपा को 97 सीटों का नुकसान और कांग्रेस को 71 सीटों का फायदा हो सकता है। अध्ययनकर्ताओं का कहना है कि अगस्त, सितंबर, अक्तूबर और नवंबर के चार महीनों में चुनावी माहौल गर्माने पर यह स्थिति आश्चर्यचकित करने वाला रूप ले सकती है, परंतु यह स्पष्ट है कि फिलहाल राज्य विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को स्पष्ट जनादेश नहीं मिल रहा है। अध्ययनकर्ताओं का कहना है कि राज्य में युवा वोट बैंक, अनुसूचित जाति (एसटी), अनुसूचित जनजाती (एएसटी), ब्राह्मण बोट बैंक एवं जाट वोट बैंक निर्णायक हैं। ब्राह्मण एवं जाट वोट बैंक कांग्रेस नेतृत्व को लेकर अनमना है। उधर, प्रतिपक्षी पार्टी के गोपनीय सर्वेक्षण के अनुसार विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की 100 और भाजपा की 70 सीट आने का निष्कर्ष है। सत्तारूढ़ भाजपा के पदाधिकारियों ने दोनों ही चुनावी अध्ययन निष्कर्षों को अतिरंजित, दुष्प्रचार कहकर खारिज किया है। यह रोचक है कि कांग्रेस के एक वरिष्ठ पदाधिकारी ने नाम नहीं प्रकाशन के आग्रह पर दोनों निष्कर्षों को सत्य से परे और विरोधी प्रचार कहा। उनका दावा है कि भाजपा सरकार विरोधी प्रचंड काली आंधी में कांग्रेस को 2/3 बहुमत मिलेगा। इसके दूसरी तरफ भाजपा भी चुनाव में जनादेश मिलने के प्रति आशान्वित है। सत्तारूढ़ भाजपा और कांग्रेस एससी (अजा) और एसटी के लिए सुरक्षित 59 सीट में से अधिकाधिक सीटें विजिट करने की घेराबंदी में लगी है।


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