अभी बाज नहीं आएगी नोटबंदी

By: Jan 23rd, 2017 12:05 am

एसोचैम-बिजकॉन का सर्वेक्षण, चालू वित्त वर्ष की अंतिम तिमाही में ही गिरती बिक्री पर दिखेगा असर

newsनई दिल्ली – नोटबंदी से आने वाले समय में कारपोरेट जैसे संगठित एवं बड़े क्षेत्रों को लाभ मिलेगा, जबकि कृषि, ग्रामीण खपत, रोजगार सृजन तथा लघु एवं मध्यम उद्योगों पर इसका तात्कालिक प्रभाव नकारात्मक होगा। उद्योग संगठन एसोचैम तथा बिजकॉन के सर्वेक्षण के अनुसार नोटबंदी का कृषि, टेक्सटाइल, सीमेंट, खाद, ऑटो मोबाइल, रिएल एस्टेट और खुदरा कोराबार पर नकारात्मक प्रभाव पडे़गा जबकि ऊर्जा, तेल एवं गैस, दवा, आईटी, इलेक्ट्रॉनिक, वित्त, आधारभूत ढांचा और एफएमसीजी पर सकारात्मक असर देखने को मिलेगा। विभिन्न क्षेत्रों पर नोटबंदी के प्रभाव की जांच के लिए किए इस सर्वेक्षण से, जो तथ्य सामने आए हैं, उनसे पता चलता है कि अधिकतर का मानना है कि एक और तिमाही तक लघु एवं मध्यम उद्योग पर नोटबंदी का असर दिखेगा, जबकि आने वाले समय में बड़ी कंपनियों को इसका लाभ मिलेगा। सर्वेक्षण में शामिल अधिकतर लोगों कहना था कि नोटबंदी का असर चालू वित्त वर्ष की अंतिम तिमाही में गिरती हुई बिक्री पर दिखेगा। आर्डर बुक का भी यही हाल रहेगा लेकिन निवेश गत तिमाही के अनुसार ही रहेगा। सब्जी तथा कुछ अन्य फसलों के दाम में आई नरमी  भी एक तरह से नोटबंदी की वजह से हुई नकदी की किल्लत के कारण की गई आपात बिक्री का नतीजा है। सर्वेक्षण में शामिल लगभग 92 प्रतिशत का कहना है कि नोटबंदी का महंगाई पर सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा। सर्वेक्षण रिपोर्ट से यह भी पता चलता है कि 66 फीसदी का कहना है कि खासकर ग्रामीण इलाकों में उपभोक्ता धारणा तथा मांग में आई गिरावट से निवेश पर बुरा असर पड़ेगा। एसोचैम के महासचिव डीएस रावत ने कहा कि अर्थव्यवस्था जब अस्थिरता के दौर से गुजर रही हो तो सही स्थिति का आकलन मुश्किल है, लेकिन हमारे सर्वेक्षण से विभिन्न क्षेत्रों पर नोटबंदी के दबाव का पता तो चलता ही है। अभी पूरी निश्चितता के साथ यह बताने में समय लगेगा कि इससे अर्थव्यवस्था को लाभ पहुंचा या नुकसान हुआ। मौजूदा स्थिति में कुछ क्षेत्रों पर इसका प्रभाव दिख रहा है, लेकिन कुछ पर नहीं दिख रहा है।


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