पानीपत में कारपेट क्लस्टर की घोषणा

कपड़ा मंत्री बोली, रेडीमेट गारमेंट्स को बढ़ावा देने को वैट-सेल टैक्स में दी जाए छूट 

चंडीगढ़— केंद्रीय कपड़ा मंत्री स्मृति जुबिन ईरानी ने पानीपत में विशेष तौर पर कारपेट क्लस्टर स्थापित करने की घोषणा की जिसके तहत केंद्र सरकार द्वारा व्यापार और डिजाइन जैसी सुविधाओं का सहयोग दिया जाएगा। इसके अलावा, उन्होंने सिरसा जिला में केंद्र सरकार द्वारा शीघ्र ही होजरी  क्लस्टर  स्थापित करने की भी घोषणा की। ईरानी बुधवार को गुरुग्राम में प्रवासी हरियाणा दिवस के उद्घाटन सत्र को संबोधित कर रही थीं। उन्होंने मुख्यमंत्री मनोहर लाल और हरियाणा सरकार के अधिकारियों से आग्रह करते हुए कहा कि आज गुरुग्राम रेडीमेट गारमेंट्स का हब बन चुका है और यहां 75 से ज्यादा बाइंग हाउस हैं। इसलिए रेडीमेट गारमेंट्स को बढ़ावा देने के लिए वैट, सेल टैक्स इत्यादि में छूट दी जाए, ताकि रेडीमेट गारमेंट्स से जुड़े लोगों को राहत दी जा सके।  आज भारत विश्व अर्थव्यवस्था में 12.5 प्रतिशत का योगदान दे रहा है। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने एक देश एक कर की अवधारणा को  अमलीजामा पहनाने के लिए देश मे जीएसटी को लागू करने का निर्णय लिया है। इसके अलावा, अर्थव्यवस्था को गति देने के लिए रेल बजट और आम बजट का भी इस बजट सत्र में एकीकरण किया जा रहा है। अर्थव्यवस्था में सुधार की दृष्टि से आज भारत 32वें स्थान पर है। विनिर्माण के मामले में देश छठे स्थान पर है।  प्रत्यक्ष विदेशी निवेश के मामले में भारत ने 130 बिलियन डालर के आंकड़े को छू लिया है।  श्रीमती ईरानी ने कहा कि पिछली सरकार के दौरान पक्षपात किया जाता था, लेकिन अब डिजिटल इंडिया अभियान के माध्यम से वर्तमान सरकार ने इस भेदभाव को दूर करने का काम किया है। उद्योग विभाग के प्रधानसचिव देवेंद्र सिंह द्वारा दी गई प्रस्तुति का जिक्र करते हुए कहा कि केंद्र और राज्य सरकार किस प्रकार से मिलकर कार्य कर सकते हैं, उन्होंने हरियाणा सरकार द्वारा टैक्सटाइल नीति बनाए जाने का भी स्वागत किया। श्रीमती ईरानी ने स्वयं प्रेरित आदर्श ग्राम योजना का उल्लेख करते हुए कहा कि हरियाणा के लोगों की जिंदादली के बारे में पूरी दुनिया जानती है, उन्होंने प्रवासी हरियाणावासियों से आह्वान किया कि वे हरियाणा सरकार द्वारा शुरू की गई इस योजना में अपना निश्चित योगदान दें, ताकि विकास के साथ-साथ मानवता की भी रक्षा की जा सके। उन्होंने हरियाणा राज्य में स्थापित चीनी मिलों का उदाहरण देते हुए कहा कि ये मिलें साल में पांच महीने चलती है यदि कोई प्रवासी हरियाणावासी इन मिलों को अपनाता है और नवीनतम तकनीकों का प्रयोग करता है तो ये चीनी मिलें पूरा साल चल सकती हैं।