बम-बम भोले से गूंजा नालागढ़

नालागढ़— महाशिवरात्रि से पूर्व ही नालागढ़ शहर बम-बम भोले, जय भोले नाथ के जयकारों से पूरी तरह से गूंजायमान हो उठा और समूचा शहर शिव महिमा की स्तुति में डूब गया। शिवरात्रि पर्व के उपलक्ष्य में बुधवार को भगवान भोलेनाथ की भव्य बारात निकली, जो समूचे शहर की परिक्रमा करते हुए वापस अपने स्थल पर पहंुची। इस दौरान इस शोभायात्रा और भोलेनाथ की बारात का शिव भक्तों ने जगह-जगह सत्कार किया और शिवभक्तों ने जगह-जगह श्रद्धालुओं के लिए फलाहार, खीर, जलेबी, पकोड़े, समोसे, हलवा, शीतल पेय, मिठाइयां व अन्य तरह तरह के पकवानों के भंडारे व छबीले लगाई थी। यह यात्रा वार्ड-नौ स्थित दुर्गा माता मंदिर के समीप शिव मंदिर से शुरू हुई। शोभायात्रा व भोलेनाथ की बारात में बुशैहरी नाटी व पारंपारिक वाद्य यंत्र मुख्य आकर्षण रहे, वहीं नासिक बैंड ने शोभायात्रा की शान में चार चांद लगाए। शोभायात्रा में भव्य रथ, अघोरी रूप, महारास, ढोल सहित अन्य झांकियां में राधा-कृष्ण की झांकी, शंकर पार्वती नृत्य, शिव तांडव आदि सहित शिवभक्तों की टोली शामिल रही। बता दें कि नालागढ़ क्षेत्र के महादेव मंदिर, भल्लेश्वर मंदिर, बाबा बर्फानी शिव मंदिर, चोये वाला मंदिर, तालाब वाला मंदिर, महाकालेश्वर मंदिर, गबला कुआं स्थित शिव मंदिर, अस्पताल में स्थित मंदिर, चुहूवाल सहित नालागढ़ उपमंडल के शिवालय सज चुके है और जगह-जगह कथाओं का आयोजन किया जा रहा है। प्रेम ज्योतिष संस्थान नालागढ़ के पंडित प्रेम शर्मा ने कहा कि भगवान शिव त्रिपुरारी है, समस्त संसार के नियामक है। उन्होंने कहा कि इस बार की महाशिवरात्रि का चार पहर का पूजन जिसमें प्रथम पहर सुबह सात से नौ तक, द्वितीय पहर सुबह 9:30 से 12:30, तृतीय पहर दोपहर बाद एक बजे से तीन व चौथे पहर का सायं चार से छह बजे तक किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि आक, धतुरा, भांग, बेलपत्री, फूल, दुर्वा, दूध, दहीं, शहद, घी, शकर, सुपारी, लौंग, इलाइची, मिक्स मेवे, मौली, मिठाई, वस्त्र आदि के साथ शिव पूजन करें।