आगे ट्रक, साइड में थे मजदूर

पांवटा साहिब —  बद्रीपुर-गुम्मा एनएच-707 पर सतौन के पास एक निजी बस दुघटना हुई। इसमें आधा दर्जन यात्रियों को हल्की चोटें आई, लेकिन जहां पर यह हादसा हुआ यदि चालक की सूझबूझ काम न आती तो यह हादसा भयावह रूप ले सकता था। चालक की थोड़ी सी चूक से जहां बस में बैठी 30 जानों पर बड़ी आफत ला सकती थी, वहीं घटनास्थल पर रोड सेफ्टी वॉल बना रहे मजदूरों की जान को भी खतरा हो सकता था। बस चालक जैसे ही उतराई में पहुंचा तो बस के नीचे से पाइप फटने की आवाज आई। चालक अनिल कुमार को अंदाजा हो गया कि बस के ब्रेक फेल हो गए हैं। अब उसे फैसला लेने के लिए सेकेंडों का समय लेना था। सामने से बड़ा ट्रक जा रहा था। साईड में मजदूर रोड सेफ्टी दीवार बनाने का कार्य कर रहे थे और दूसरी और सवारियों को भी कुछ नहीं बताना था वरना सवारियां डर के मारे कूद सकती थी जिससे उनकी जान को खतरा था। चंद सेकेंड में चालक के दिमाग ने कार्य करते हुए बस को उपर की तरफ पहाड़ी से टकरा दिया। इससे बस सड़क पर ही पलट गई। इससे बस के भीतर बैठी आधा दर्जन सवारियों को तो हल्की चोटें आई लेकिन जहां एक बड़ा हादसा टल गया वहीं सूझबूझ से कईयों की जान बच गई। बस में बैठी सवारियों का कहना है कि ऐसे हालात में दिमाग काम करना बंद कर देता है, लेकिन जिस प्रकार चालक ने अपनी सूझबूझ का परिचय दिया उससे उनकी जान बच गई है। चालक अनिल कुमार गिरिपार के ही चौकी मृगवाल गांव से संबंध रखता है तथा पिछले 14 सालों से चालक के तौर पर अपनी सेवाएं दे रहा है।

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