जिला परिषद सदस्य करेंगे मानिटरिंग

शिमला  —  जिला  परिषद सदस्यों को भले ही 13वें वित्त आयोग की तरह 14वें वित्त आयोग में वित्तीय शक्तियां न दी गईं हों, लेकिन योजनाओं की मानिटरिंग यही सदस्य करेंगे। इस बारे में केंद्र की ओर से गाइडलाइन जारी की गई है कि 14वें वित्त आयोग के तहत पंचायतों को जो भी योजनाएं स्वीकृत की जाएंगी उनकी मानिटरिंग जिला परिषद और पंचायत समिति के सदस्य करेंगे। इन सदस्यों को योजनाओं की समीक्षा भी करनी होगी और रिपोर्ट सरकार को देनी होगी। सदस्य योजनाओं का निरीक्षण बिना किसी पूर्व अनुमति से कर सकेंगे। इस निरीक्षण के बाद रिपोर्ट  भी सदस्यों को तैयार करनी होगी। 14 वें वित्त आयोग की योजनाओं की समीक्षा को लेकर बुधवार को बचत भवन में जिला परिषद की विशेष बैठक बुलाई गई। बैठक की अध्यक्षता जिला परिषद अध्यक्ष धर्मीला हरनोट ने की। बैठक के दौरान जिला परिषद सदस्य नीलम सरैक व अन्य ने सवाल उठाया कि 14वें वित्त आयोग में जब जिप सदस्य के लिए कोई वित्तीय प्रावधान ही नहीं है ,तो इस योजनाओं की समीक्षा की बैठक  आयोजित करने का क्या अभिप्राय है। इस पर जिला पंचायत अधिकारी एमएस नेगी ने स्पष्ट किया कि केंद्र की ओर से हाल ही में गाइडलाइन जारी की गई है कि 14वें वित्त आयोग के तहत जो राशि जारी होगी और उसके तहत पंचायतों में जो भी कार्य होंगे उसकी मानिटरिंग जिला परिषद और पंचायत समिति सदस्य करेंगे। इसमें सदस्यों को संबंधित अधिकारियों के साथ फील्ड विजिट करनी होगी और देखना होगा कि योजनाएं कहीं कागजों में ही तो पूरी नहीं की जा रही है और जो बजट जारी हुआ उसमें से कितना कहां पर खर्च किया गया।

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