… तो बाहर होंगे 73 शिक्षक

सेलन —  प्रारंभिक शिक्षा विभाग मे तैनात जिला के 73 अध्यापकों पर निलंबन की तलवार लटक गई है। विभाग ने फरमान जारी किए हैं कि यदि एक अप्रैल 2019 तक दो वर्षीय डिप्लोमा इन ऐलिमेंटी ऐजूकेशन पूरा नहीं किया तो सेवाएं बर्खास्त कर दी जाएंगी। अध्यापकों को आपेक्षित न्यूनत्तम योग्यता को सुधारने का यह आखिरी मौका दिया गया है। इसके आलावा निजी विद्यालयों में सेवाएं दे रहे अध्यापकों पर भी इसी प्रकार की कार्रवाई के निर्देश जारी किए हैं। विभाग के इन निर्देशों के बाद सैकड़ों अध्यापकों में हड़कंप मच गया है। जानकारी के अनुसार पहली से पांचवीं कक्षा तक शिक्षा दे रहे सभी अध्यापकों को डीएलएड का दो वर्षीय डिप्लोमा करना जरूरी है। यह डिप्लोमा एनआईओएस द्वारा करवाया जाता है। डिप्लोमा करने के लिए आन लाइन पंजीकरण किया जा रहा है। पंजीकरण की अंतिम तारिख 15 सितंबर 2017 रखी गई है। इसके बाद पंजीकरण बंद कर दिए जाएंगे। यह डिप्लोमा अध्यापकों को आन लाइन ही करना होता है इसके लिए अलग से कहीं पर भी  जाकर प्रशिक्षण लेने की अवश्यकता नहीं है। आरटीआई अधिनियम 2009 सरकारी व सरकार से अनुदान प्राप्त स्कूल तथा निजी स्कूलों में कार्यरत अध्यापकों को यह प्रशिक्षण करना बेहद जरूरी है। विभाग द्वारा निर्देश जारी किए गए हैं कि 1 अप्रैल 2019 तक जिन अध्यापकों ने यह प्रशिक्षण पूरा नहीं किया तो इसके बाद उनकी सेवाओं को समाप्त कर दिया जाएगा। इसी प्रकार के निर्देश निजी विद्यालयों के अध्यापकों को भी  दिए गए हैं। प्रारंभिक शिक्षा उपनिदेशक डा. चंद्रेश्वर शर्मा ने बताया कि 14 सितंबर को बद्दी में एक विशेष बैठक रखी गई है। इस दौरान निजी  स्कूल में तैनात अध्यापकों को पूरा विवरण मंगवाया गया है। यदि बैठक में कोई निजी विद्यालय मौजूद नहीं रहता है तो उसके लिए वह स्वयं उत्तरदायी होगा।