पुलिस-छात्रों में धक्का-मुक्की

शिमला— कोटखाई मामले में छात्रों को इनसाफ दिलवाने और मामले में पकड़े गए आरोपियों के डीएनए मैच न होने पर अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद ने उग्र धरना-प्रदर्शन उपायुक्त कार्यालय के बाहर किया। प्रदर्शन इतना उग्र था कि एबीवीपी के कार्यकर्ताओं ने इस दौरान धारा 144 तोड़कर मालरोड की तरफ बढ़ने का प्रयास किया। इस दौरान मौके पर तैनात पुलिस बल ने छात्रों को बल प्रयोग कर मालरोड की तरफ बढ़ने से रोका। छात्रों और पुलिस के बीच धक्का-मुक्की भी इस दौरान हुई। पुलिस द्वारा रोके जाने पर छात्र सीटीओ पर ही धरने पर बैठक गए। प्रदर्शन के दौरान प्रदेश सरकार और पुलिस प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी छात्रों ने की। लगभग दो घंटे तक छात्रों का यह उग्र प्रदर्शन सीटीओ पर चलता रहा।  एबीवीपी की प्रदेश मंत्री हेमा ठाकुर ने प्रदेश सरकार व पुलिस प्रशासन पर आरोप लगाते हुए कहा कि सरकार के इशारे पर मुख्य आरोपियों को बचाया जा रहा है और जिन गिरफ्तार किए लोगों का डीएनए टैस्ट छात्रा से नहीं मिला है इससे स्पष्ट हुआ है कि या तो आरोपी जो पकड़े गए हैं वह गुनहगार हैं या फिर डीएनए की रिपोर्ट गलत है।

मुख्यमंत्री के इस्तीफे की उठाई मांग

नगर अध्यक्ष ललित ठाकुर ने बताया कि एबीवीपी के पूरे जिला के सभी महाविद्यालयों में इसे लेकर छात्रों को एकजुट करेगी। एबीवीपी ने मुख्यमंत्री के इस्तीफे की भी मांग की है और अगर यह मांग पूरी नहीं हुई तो प्रदर्शन उग्र होता जाएगा।

कहा, अपने चहेतों को बचा रही सरकार

एबीवीपी ने यह भी आरोप लगाया कि सरकार पहले से ही इस मामले में अपने चहेतों को बचा रही है। इस दौरान एबीवीपी ने चेतावनी दी है कि यदि प्रदेश के मुख्यमंत्री अभी भी इस्तीफा नहीं देते हैं तो एबीवीपी उग्र प्रदर्शन करेगी। गुरूवार को भी इस पूरे मामले पर पूरे प्रदेश के विभिन्न महाविद्यालयों में एबीवीपी इकाईयों ने प्रदर्शन किया है।

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