प्लेन का इंजन खराब, शिमला में एक हफ्ते से नहीं हो रही उड़ान

शिमला— हिमाचल की राजधानी शिमला एयर कनेक्टिविटी के लिहाज से फिर शेष विश्व से कट चुकी है। पिछले 27 सितंबर से जुब्बड़हट्टी एयरपोर्ट पर कोई भी उड़ान नहीं आ पा रही है। हालांकि अनशेड्यूल्ड फ्लाइट्स तो गाहे-बगाहे पहुंच रही हैं, मगर शेड्यूल्ड फ्लाइट्स एलाइंस एयरवेज के प्लेन का इंजन खराब होने से बंद कर दी गई है। खास यह भी कि जिस डेक्कन एयरलाइंस की उड़ानों को लेकर बड़ा शोर किया जा रहा था, अब उस कंपनी ने भी उड़ानें शुरू करने से मनाही कर दी है। हिमाचल में ही नहीं इस कंपनी की उड़ानें गुजरात व महाराष्ट्र में भी शुरू होनी थीं, मगर ऐसा नहीं हो सका है। सूत्रों के मुताबिक कंपनी के पास एटीआर-72 व 42 ही मौजूद नहीं हैं। शिमला एयरपोर्ट पर एलाइंस एयरवेज का एटीआर-42 हफ्ता पहले हर दिन शिमला से दिल्ली तक उड़ान भरता था, मगर अब यह बंद कर दी गई है। नतीजतन पर्यटन सीजन में प्रदेश की राजधानी में व्यवसायियों को दिक्कतें पेश आ रही हैं। क्योंकि स्तरीय टूरिस्ट हवाई मार्ग द्वारा ही शिमला पहुंचना पसंद करते हैं। यह सब ऐसे में हो रहा है, जब केंद्रीय उड्डयन मंत्रालय प्रदेश को एयर कनेक्टिविटी से जोड़ने के लिए कभी भुंतर तो कभी गगल एयरपोर्ट से नई योजनाओं की शुरुआत कर रहा है। जाहिर सी बात है कि प्रदेश की राजधानी शिमला केंद्रीय उड्डयन मंत्रालय के लिए अभी भी कोई खास मायने नहीं रखती है। यदि ऐसा होता तो सबसीडाइज्ड उड़ानें टूरिस्ट सीजन में बंद न होतीं। केंद्रीय उड्डयन मंत्रालय जल्द से जल्द इसका विकल्प जुटा सकता था। इससे पूर्व केंद्रीय उड्डयन मंत्रालय ने जुब्बड़हट्टी एयरपोर्ट के विस्तार के लिए 124.22 करोड़ रुपए का बजटीय प्रावधान किया था। एयरपोर्ट के नवीनीकरण व यहां भूमि कटाव को रोकने, ढलान के स्थिरीकरण और क्षरण नियंत्रण के लिए नए सिरे से कार्य किया गया। उल्लेखनीय रहेगा इसी वर्ष मार्च महीने में ही डायरेक्टर जनरल ऑफ सिविल एविएशन, एयरपोर्ट अथारिटी ऑफ इंडिया व भारतीय मौसम विभाग के आला अधिकारियों ने एयर इंडिया के चीफ पायलट्स की टीम के साथ यहां का दौरा किया था। टीम ने जुब्बड़हट्टी एयरपोर्ट को नियमित उड़ानों के लिए फिट करार दिया था। दिक्कत यही थी कि एलाइंस एयरवेज के पास एटीआर-42 नहीं थे। अब जबकि ऐसे विमान उपलब्ध भी हो चुके हैं, तब भी न तो नियमित उड़ानों की संख्या बढ़ाई जा सकी है और न ही अतिरिक्त प्लेन शिमला के लिए जुटाए जा सके। अब प्रदेश की राजधानी इसका खामियाजा भुगत रही है।

पहले लैंड होता था 40 सीटर विमान

अभी तक जुब्बड़हट्टी स्थित हवाई पट्टी पर 40 सीटर विमान ही उतरता था। अब एयर इंडिया से जुड़े एलाइंस एयरलाइन ने यहां जो सर्वेक्षण किया था, उसके तहत एटीआर-42 सीटर विमानों को उतारा जा रहा है।

चार साल तक बंद रहा है जुब्बड़हट्टी एयरपोर्ट

इससे पहले भी मरम्मत कार्यों व एयरपोर्ट विस्तार के चलते यह चार वर्षों तक बंद रहा। अब फिर से दिक्कतें जस की तस दिख रही हैं।

300 मीटर और बढ़ाई है रन-वे की लंबाई

जुब्बड़हट्टी हवाई अड्डे के रन-वे की लंबाई 1164 मीटर थी। इसे करीब 300 मीटर तक बढ़ा दिया गया है, जबकि चौड़ाई 30 मीटर है। हवाई पट्टी के विस्तार के साथ-साथ एयरपोर्ट में आधारभूत ढांचे को मजबूत किया गया है।