गिरने के कगार पर रेनशेल्टर विभाग नहीं कर रहा मरम्मत

बिलासपुर — बिलासपुर शहर से सटे बामटा में लोगों की सुविधा के लिए बनाए गए रेन शेल्टर की सुध लेने की जहमत नहीं उठाई जा रही है। बिलासपुर शहर के साथ ही सुंदरनगर, मंडी, घुमारवीं व हमीरपुर की ओर जाने वाले यात्रियों के लिए निर्धारित बस स्टॉप पर बनाए गए इस रेन शेल्टर की दयनीय हालत का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि इसके कभी भी ढहने की आशंका के चलते बारिश के दौरान भी लोग इसका आश्रय लेने से हिचकिचाते हैं। ऐसे में यह रेन शेल्टर अब केवल टूटा-फू टा सामान रखने के लिए ही प्रयोग हो रहा है। चंडीगढ़-मनाली नेशनल हाई-वे बिलासपुर शहर से होकर गुजरता है। शहर से करीब तीन किलोमीटर आगे बामटा में रोड डाइवर्शन है। वहां से एक सड़क मंडी, कुल्लू, मनाली तथा दूसरी सड़क घुमारवीं, हमीरपुर व कांगड़ा की ओर जाती है। इसी के चलते बामटा में बस स्टॉप निर्धारित किया गया है। किसी भी ओर जाने वाले लोग इस बस स्टॉप पर रुककर ही बसों का इंतजार करते हैं। उनकी सुविधा के मद्देनजर एनएच के किनारे रेन शेल्टर भी बनाया गया है, लेकिन वर्षों पुरानी इस वर्षाशालिका की सुध लेने की जहमत नहीं उठाई जा रही है। देखरेख और मरम्मत के अभाव में रेन शेल्टर की हालत बेहद दयनीय हो गई है। इसकी छत्त से अक्सर कंकरीट के टुकड़े गिरते रहते हैं। इसके चलते छत के सरिये बाहर झांक रहे हैं। फर्श, दीवारों और लोगों के बैठने के लिए कंकरीट से बनाए गए बेंचों की भी कमोवेश यही हालत है। ऐसे में बसों का इंतजार करने वाले लोग इसके भीतर जाने से डरते हैं। इसके ढहने की आशंका के चलते बारिश होने की स्थिति में भी लोग रेन शेल्टर के बजाए इधर-उधर आश्रय ढूंढते रहते हैं। वर्तमान में इस रेन शेल्टर में पुलिस विभाग के बेरीकेड्स पड़े हैं, जिनमें से कुछ प्रयोग किए जाते हैं, जबकि कुछ टूटे-फू टे हैं। स्थानीय लोगों ने पीडब्ल्यूडी से मांग की है कि या तो शोपीस बन चुके इस रेन शेल्टर को ढहा दिया जाए या फिर इसकी मरम्मत कराई जाए, ताकि यात्रियों व राहगीरों को सुविधा मिल सके।