मोदी के घर में दोस्ती का चरखा

By: Jan 18th, 2018 12:10 am

इजरायली प्रधानमंत्री के स्वागत के लिए पीएम ने फिर तोड़ा प्रोटोकॉल

अहमदाबाद— भारत के दौरे पर आए इजरायली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू और उनकी पत्नी सारा नेतन्याहू का बुधवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने गृह राज्य गुजरात में एक बार फिर प्रोटोकॉल तोड़ कर स्वागत किया। स्वागत के बाद हवाई अड्डे से महात्मा गांधी के ऐतिहासिक साबरमती आश्रम तक तीनों ने आठ किलोमीटर लंबे रंगारंग रोड शो में भाग लिया। ‘इंडिया कल्चरल रोड शो’ नाम वाले इस रोड शो के लिए रास्ते में 50 मंच बनाए गए थे, जिनमें केरल की कुचीपुड़ी, पंजाब के भंगड़ा नृत्य, असम के बिहू, राजस्थान के घूमर और गुजरात के रास गरबा और अन्य लोकनृत्यों समेत 15 राज्यों के नृत्यों और संस्कृति की झांकी वाले मंच भी थे। इसके अलावा स्कूली बच्चों ने भी कार्यक्रम प्रस्तुत किए। करीब आधे घंटे तक चला यह रोड शो हालांकि गत 13 सितंबर को जापानी प्रधानमंत्री शिंजो आबे और उनकी पत्नी के साथ श्री मोदी के इसी मार्ग पर खुली जीप में हुए रोड शो के विपरित सुरक्षा कारणों से विशेष रूप से दिल्ली से लायए गए बंद बुलेट फ्रूफ वाहन में हुआ। श्री नेतन्याहू के स्वागत के लिए उनसे पहले यहां पूर्वाह्न लगभग दस बजे पहुंचे श्री मोदी ने कुर्ता पजामा, स्लेटी रंग का जैकेट पहन रखा था। इजरायली प्रधानमंत्री का विमान एक घंटे बाद लगभग 11 बजे पहुंचा। गत 14 जनवरी को उनके भारत आगमन पर प्रोटोकॉल तोड़ कर दिल्ली हवाई अड्डे पर उनका स्वागत करने वाले श्री मोदी ने बुधवार को एक बार फिर ऐसा किया। हवाई अड्डे पर ही श्री नेतन्याहू के स्वागत के लिए रंगारंग कार्यक्रम का आयोजन किया गया था। अपने भव्य स्वागत से भावविभोर श्री नेतन्याहू ने कलाकारों का नमस्ते की मुद्रा में हाथ जोड़ कर अभिवादन किया। वह पत्नी सारा के साथ कलाकारों के पास भी पहुंच गए, जहां श्री मोदी ने, जो लगातार उनके लिए एक तरह से गाइड की भूमिका निभा रहे थे, ने उन्हें गुजरात की पारंपरिक तरनेतर छतरी और भूंगल वाद्य यंत्रों के बारे में बताया। इन नेताओं के हवाई अड्डे पर दस मिनट गुजारने के बाद रोड शो लगभग साढे़ ग्यारह बजे शुरू हुआ। श्री मोदी वाहन में आगे की सीट पर तथा श्री नेतन्याहू और उनकी पत्नी पीछे की सीट पर थे। इसे लोगों के निकट से गुजारा जा रहा था, ताकि वे बंद वाहन में बैठे नेताओं को बुलेटप्रूफ खिड़की से स्पष्टता से देख सकें। रास्ते में लोगों की खासी भीड़ जुटी थी। रास्ते में और मंचों पर लगे पोस्टर तथा दिशा निर्देशक पटों पर इजरायल की सरकारी भाषा हिब्रू में भी लिखावट की गई थी। एयरपोर्ट सर्किल, रिवरफ्रंट, सुभाष ब्रिज और आरटीओ होते मध्यान्ह 12 बजे साबरमती आश्रम पहुंचा। श्री मोदी ने आश्रम में लगभग 20 मिनट रुकने के दौरान भी इजरायली प्रधानमंत्री और उनकी पत्नी के लिए गाइड की भूमिका निभाई। श्री मोदी और दोनों अतिथियों का स्वागत पारंपरिक सूत की मालाएं पहना कर किया गया। उन्होंने भी गांधीजी के चित्र पर ऐसी ही माला चढ़ाई। श्री नेतन्याहू ने बापू के मूल निवास हृदय कुंज में चरखे पर भी हाथ आजमाया। इस मौके पर उनके प्रिय भजन प्रस्तुत किए गए। इजरायली प्रधानमंत्री ने बापू की प्रतिमा पर पुष्पांजलि भी अर्पित की।

पतंग उड़ाकर सौंपी डोर

श्री मोदी ने अतिथि प्रधानमंत्री और उनकी पत्नी को पतंग उड़ाने की कला और गुजरात में हाल में संपन्न उत्तरायण पर्व के मौके पर इसके महत्त्व की भी जानकारी दी। श्री मोदी ने आश्रम में साबरमती नदी के किनारे एक मंच से स्वयं भी पतंग उड़ाई और बाद में इसकी डोर श्री नेतन्याहू और उनकी पत्नी सारा को भी सौंपी। उन्हें पतंग और फिरकी भी दिखाई। श्री नेतन्याहू और उनकी पत्नी ने आश्रम से रवाना होने से पहले इसकी आगंतुक पुस्तिका (विजिटर्स बुक) में अंग्रेजी में लिखा – मानवीयता के महान प्रेरणा दूतों में से एक महात्मा गांधी के स्थान का प्रेरणादायी दौरा।


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