छोटे अफसरों के भी बड़े नाम

प्रदेश सरकार ने बदले आबकारी एवं कराधान विभाग के अधिकारियों के पदनाम

सोलन – हिमाचल सरकार ने प्रदेश के सबसे कमाऊ आबकारी एवं कराधान विभाग के सभी अधिकारियों का सम्मान करते हुए उन्हें केंद्रीय राजस्व अधिकारियों के समक्ष ला खड़ा किया है। सरकार की एक अधिसूचना से पूरे आबकारी  व कराधान विभाग के अधिकारियों के पदनाम बदल दिए गए हैं। प्रदेश के छोटे अधिकारियों को भी बड़े पदनाम देने से अब हिमाचल के अधिकारियों को सेंट्रल एक्ससाइज के अधिकारियों के सामने अपील, जुर्माना, माफी व अन्य विभागीय कार्यों के लिए गिड़गिड़ाना नहीं पड़ेगा। पोस्ट का नाम बदलने से जीएसटी कलेक्शन में भी बढ़ोतरी होगी। प्रदेश के राजस्व में सालाना 5500 करोड़ रुपए कर के रूप में एकत्रित करने वाले आबकारी एवं कराधान विभाग के सैकड़ों अधिकारी सरकार के फैसले से फूले नहीं समा रहे हैं। प्रदेश में कार्यरत 300 निरीक्षकों को भी दो साल की सेवा पूरी करने के बाद सहायक आबकारी व काराधान अधिकारी के रूप में पदोन्नत करने की अधिसूचना जारी हुई है। हालांकि इस पदोन्नति में फिलहाल वेतन व अन्य भत्तों में बढ़ोतरी नहीं हुई है, परंतु फिर से सेंट्रल बोर्ड ऑफ एक्ससाइज एंड कस्टम व अन्य केंद्रीय राजस्व अधिकारियों के समक्ष  अब प्रदेश के कर्मचारी खड़े हो गए हैं। विभाग के सहायक आयुक्त आफिसर एसोसिएशन के प्रदेश अध्यक्ष सोमदत्त शर्मा ने सीएम व विभाग के उच्च अधिकारियों का धन्यवाद किया है।

कुछ ऐसे बदली गई हैं पोस्ट

अब विभाग के आबकारी व कराधान (ईटीओ) अधिकारियों के पद को सहायक आयुक्त राज्य आबकारी व कराधान अधिकारी के नाम से जाना जाएगा। प्रदेश में कुल 135 ईटीओ कार्यरत हैं। इसी तरह सहायक आयुक्त को उप-आयुक्त, उपायुक्त को संयुक्त आयुक्त  व संयुक्त आयुक्त को अतिरिक्त आयुक्त के पद पर प्रोमोट किया गया है। राज्य में कुल 17 एसी, सात डीसी व  तीन संयुक्त आयुक्त अपनी सेवाएं प्रदान कर रहे हैं।

पांचवां राज्य बना हिमाचल प्रदेश

ऐसा निर्णय लेने वाला हिमाचल प्रदेश अब देश का पांचवां राज्य बन गया है। इससे पूर्व आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, छत्तीसगढ़ व राज्यस्थान में यह प्रावधान किया गया था।