पानी पर आधी रात को हंगामा

सातवें दिन भी पानी न मिलने से भड़के लोग, सीएम से मिलने की जिद्द

शिमला – राजधानी शिमला में पानी की किल्लत से जूझ रहे लोगों का रविवार की आधी रात को गुस्सा फूट पड़ा। सातवें दिन भी पानी की सप्लाई न आने से गुस्साए राम बाजार वार्ड के सैकड़ों लोगों ने पहले एमसी के कंट्रोल रूम पर आधी रात को हंगामा किया, लेकिन यहां जब कोई अधिकारी नहीं पहुंचा तो वहां से सीएम के आवास की ओर कूच कर गए। सुरक्षा कारणों से पुलिस ने सीएम आवास ओक ओवर में पहुंचने से पहले ही भीड़ को रोक लिया। इस दौरान दोनों पक्षों में खूब धक्का-मुक्की हो गई। पुलिस ने भीड़ की अगवाई कर रहे कांग्रेस नेता संजीव कुठियाला सहित करीब 50 लोगों पर केस दर्ज किया है। उधर लोगों ने पुलिस पर महिलाओं के साथ धक्का-मुक्की करने के आरोप लगाए हैं। दरअसल वार्ड की पुरुषार्थी बस्ती और सब्जी मंडी के साथ लगते क्षेत्र में 26 मई को पानी की सप्लाई दी जानी थी, लेकिन सप्लाई नहीं आई। इस पर नगर निगम ने रविवार रात करीब 9.30 बजे तक पानी की आपूर्ति करने की बात कही, लेकिन जब रविवार देर रात तक भी पानी नलों में नहीं पहुंचा तो लोगों के सब्र का बांध टूट गया। इसके बाद इलाके के करीब अढाई सौ लोग पार्षद सुषमा कुठियाला के घर जा पहुंचे और वहां पर प्रदर्शन कर नगर निगम के खिलाफ अपना गुबार निकालने लगे। पार्षद सुषमा कुठियाला के अनुसार लोग उनसे मांग करने लगे कि वह उनके साथ चलकर रात को एमसी दफ्तर का घेराव करें। हालांकि पार्षद ने लोगों को समझाया कि रात को कोई भी नगर निगम के कार्यालय में मौजूद नहीं रहता। इस पर लोगों ने रिज मैदान पर बने पानी के कंट्रोल रूम की ओर भारी संख्या में कूच कर दिया। लोग मालरोड़ पर लगी धारा-144 का उल्लंघन करते हुए नारेबाजी करते हुए रिज मैदान पर एमसी के वाटर कंट्रोल रूम में जा पहुंचे। इस बीच पुलिस भी मौके पर पहुंच गई, लेकिन नगर निगम का कोई भी बड़ा अधिकारी मौके पर नहीं पहुंचा। पार्षद का आरोप है कि इस बीच किसी ने तंज कसते हुए लोगों से कहा कि पानी तो मुख्यमंत्री ही देंगे। इतना सुनते ही लोग भड़क गए और वे वहां से सीएम जयराम ठाकुर के मिलने के लिए उनके सरकारी आवास ओक ओवर की ओर कूच कर गए।

उपमहापौर नहीं दे रहे कोई प्रतिक्रिया   

पूर्व पार्षद नरेंद्र ठाकुर ने आरोप लगाया कि शहर में पेयजल किल्लत चल रही है, मगर इस पर नगर निगम आयुक्त और उपमहापौर की कोई प्रतिक्रिया नहीं आ रही है। इस संकट के समय में महापौर शहर में नहीं है।

पुलिस और लोगों में धक्का-मुक्की

पानी की मांग को लेकर नारेबाजी और प्रदर्शन करते हुए सैकड़ों लोग रात को करीब सवा 12 बजे रिज मैदान, मोलरोड से होते हुए ओकओवर की ओर बढ़ने लगे। रात को सीएम आवास जा रहे लोगों को पुलिस ने बैरिकेटिंग मरीना होटल के समीप करीब 12.30 पर रोक दिया। बताया जा रहा कि इस भीड़ में आगे-आगे महिलाएं और बच्चे थे। इस दौरान जब पुलिस ने उनको रोक दिया तो लोगों ने इसका विरोध किया और धक्का-मुक्की करने लगे। इस तरह दोनों पक्षों में खूब धक्का-मुक्की हुई। पार्षद सुषमा कुठियाला का कहना है कि पुरुष जवानों ने महिलाओं के साथ धक्का मुक्की की। उनका आरोप है कि पुलिस उनसे ऐसा बर्ताव कर रही थी कि जैसे कि उन्होंने कोई संगीन जुर्म किया हो, जबकि वे मुख्यमंत्री के समक्ष अपनी समस्या रखने जा रहे थे। यही नहीं उनका आरोप है कि सदर थाना और छोटा शिमला थाना के एसएचओ ने भी उनको धक्के मारे। हंगामा देख रात को एडिशनल एसपी प्रवीर ठाकुर, डीएसपी प्रमोद शुक्ला, एडीएम लॉ एंड आर्डर, एसडीएम शहरी मौके पर पहुंचे। लोगों ने एडीएम और एसडीएम का घेराव किया।

पानी को नारेबाजी, 50 पर पुलिस केस

शिमला शहर में आधी रात को पानी को लेकर हुए हंगामे के दौरान पुलिस के साथ धक्का-मुक्की करने पर कांग्रेस के नेता व पूर्व पार्षद संजीव कुठियाला सहित करीब 50 लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। ओकओवर के समीप रोकने पर पुलिस के साथ लोगों ने खूब धक्का-मुक्की की। पुलिस के अनुसार पूर्व पार्षद संजीव कुठियाला, उनकी पत्नी व बेटे सहित अन्य लोगों ने मौके पर मौजूद छोटा शिमला के थाना प्रभारी प्रवीण ठाकुर के साथ धक्का-मुक्की और मारपीट की। थाना प्रभारी की शिकायत पर कुठियाला सहित अन्य के खिलाफ छोटा शिमला थाने में आईपीसी की धाराओं 332 व 353 के तहत केस दर्ज किया गया है।

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