मस्जिद पर ताला… डर के मारे बिना नमाज अता किए लौटे

नगरोटा बगवां—नगरोटा बगवां में स्थित मस्जिद में पहली बार ताला लटका होने की वजह से रमजान के महीने में शुक्रवार को नमाजियों को बिना नमाज अता किए ही बैरंग लौटना पड़ा । गत सप्ताह हुए छेड़छाड़ के मामले में एक समुदाय के विरुद्ध भीड़ के गुस्से के बाद उत्पन्न हालात तो शांति बयां करते रहे,  लेकिन हंगामे के बाद एक समुदाय का क्षेत्र से पलायन लगातार जारी है । दूसरे राज्यों से कारोबार करने या मजदूरी करने आए लोग अपने ठिकाने छोड़ कर वापस घरों को रवाना हो रहे हैं । जो कल तक यहां दुकानें लेकर कारोबार कर रहे थे उन दुकानों पर ताले लटक चुके हैं । जानकारी यह भी है कि बड़ी संख्या में घुमंतु कारोबारी तथा कामगार भी अब नगरोटा को अलविदा कह चुके हैं । यही वजह है कि एक सप्ताह पूर्व जुम्मे की नमाज के लिए यहां पहुंचने वाले सैकड़ों लोग आज गायब रहे । दिन भर सुनसान पड़े परिसर में दोपहर बाद कुछ खास समुदाय के दर्जन भर लोग नमाज पढ़ने की मंशा से पहुंचे भी तो मस्जिद में ताला लटका देख निराश हुए । हालांकि कुछ ने खुले में नमाज पढ़ने की इच्छा जताई, लेकिन अज्ञात लोगों द्वारा मिली धमकियों तथा अनजाने खौफ के चलते वे भी हिम्मत नहीं जुटा पाए तथा वापस चले गए । उन्होंने हैरानी जताई कि 24 घंटे खुली रहने वाली मस्जिद के मुख्य द्वार पर ताला किसने लगाया । इसकी जानकारी किसी के पास भी नही थी । कुछ स्थानीय युवक भी उस स्थल पर जमा हुए, जो उक्त समुदाय की उपस्थिति को संदेहास्पद बताकर अपना विरोध जताते रहे हैं । यह संयोग ही था कि तब तक सभी नमाजी मस्जिद परिसर को छोड़ जा चुके थे तथा दोनों पक्षों का आमना-सामना नही हो पाया अन्यथा हालात बिगड़ते देर न लगती । उक्त संवेदन शील तथा कानून व्यवस्था से जुड़े मामले पर प्रशासन की नगण्य भूमिका तथा मौके से नदारदी भी प्रबुद्ध जनों के गले नहीं उतर पा रही ।

परिसर में पसरा सन्नाटा

नगरोटा बगवां में वक्फ बोर्ड की अपनी मिलकियती भूमि में एक मस्जिद नुमां ढांचा दशकों पूर्व से स्थापित है । कुछ वर्ष पूर्व यहां नियमित नमाज अदायगी के लिए समुदाय के लोगों की संख्या बढ़ रही थी तथा दूरदराज के लोग भी यहां खास दिन को नमाज अता करने पहुंचते थे । गत सप्ताह उपजे विवाद के बाद शुक्रवार को परिसर में सन्नाटा रहा ।

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