जमीन उपजाऊ करने में केंचुए मददगार

एलपीयू की जीव वैज्ञानिक शिविका दत्ता ने बर्लिन में बताए तरीके

जालंधर — लवली प्रोफैशनल यूनिवर्सिटी के स्कूल ऑफ बॉयो-इंजीनियरिंग एंड बॉयो-साइंसेज की जीव वैज्ञानिक शिविका दत्ता ने जर्मनी के बर्लिन शहर में आयोजित तृतीय ग्रीन एंड सस्टेनेबल कैमिस्ट्री कान्फ्रेंस में अपने रिसर्च पेपर की प्रस्तुति की। उसकी रिसर्च का मूल्यांकन करते हुए भारत सरकार के डिपार्टमेंट ऑफ साइंस एंड टेक्नोलॉजी ने शिविका को ट्रैवल ग्रांट प्रदान की थी, ताकि वह जर्मनी में एकत्रित हुए एक हजार से अधिक ग्लोबल रिसर्च वैज्ञानिकों के साथ अपने रिसर्च कार्य को साझा कर सके। इस कान्फ्रेंस में दो आईआईटीज सहित भारतीय संस्थानों से आमंत्रित छह वैज्ञानिकों में से एक एलपीयू की साइंटिस्ट शिविका थीं। शिविका की रिसर्च का लक्ष्य स्थानीय केंचुओं की सहायता से भूमि की उपजाऊ शक्ति तथा फसलों की पैदावार में वृ़द्धि करना है। इसके लिए एलपीयू की प्रयोगशालाओं में वह निरंतर केंचुओं की कई प्रजातियों पर कार्य करती आ रही हैं। इस विशेष प्राप्ति पर एलपीयू के चांसलर अशोक मित्तल ने जीव वैज्ञानिक शिविका को प्रेरित करते हुए कहा कि वह इसी तरह वैश्विक समाज की भलाई के लिए सखत मेहनत करना जारी रखे।