ओपेक और उसके सहयोगी देशों ने अपनी अतिरिक्त क्षमता के दम पर आश्वस्त किया है कि वे बाजार की मांग के अनुसार आपूर्ति जारी रखने को तैयार और तत्पर हैं। बकरिंदो ने लंदन में आयोजित ऑइल ऐंड मनी कॉन्फ्रेंस में कहा कि ग्रुप अपने ग्राहकों में किसी प्रकार के डर को दूर करना चाहता है। उन्होंने कहा कि ओपेक देश 17 अक्टूबर को भारत के साथ बातचीत करेंगे।
सऊदी अरब पर आशंका
ओपेक का सबसे बड़ा तेल उत्पादक सदस्य देश सऊदी अरब और सहयोगी देश रूस ने संकेत दिए कि वे ईरान पर पाबंदियों की वजह से बाजार में तेल आपूर्ति की कमी को पाटने के लिए प्रति दिन 10 लाख बैरल अतिरिक्त तेल की आपूर्ति करेंगे। लेकिन, व्यापारियों में इस बात की चिंता है कि सऊदी अरब तेल उत्पादन बढ़ाने में पर्याप्त तेजी नहीं दिखा रहा है। व्यापारियों को यह भी आशंका है कि शायद सऊदी अरब के पास तेल उत्पादन बढ़ाने की क्षमती ही नहीं है।
ओपेक के 25 सदस्य देश और कुछ अन्य देशों के बीच तात्कालिक संधि को स्थायित्व प्रदान करने पर बातचीत जारी है। ओपेक के साथ उसके सहयोगी देशों को मिलाने पर ओपेक प्लस बनता है। ओपेक के प्रतिनिधि, जिन्हें गवर्नर कहते हैं, 23 अक्टूबर को वियना में मिल रहे हैं जबकि सहयोगी देशों के अधिकारी 7 नवंबर को आगे की बातचीत के लिए वहां पहुंचेंगे।