गणतंत्र समारोह में न बुलाने पर पूर्व सैनिक नाराज

 बिलासपुर—बिलासपुर में होने जा रहे जिला स्तरीय गणतंत्र दिवस समारोह में भाग लेने के लिए आमंत्रित न किए जाने से पूर्व सैनिक नाराज हो गए हैं। पूर्व सैनिकों का कहना है कि पिछले छह सालों से लगातार पूर्व सैनिकों की अनदेखी की जा रही है। जबकि देश की आन बान और शान से जुड़े इस पर्व पर होने वाले समारोह में पूर्व सैनिकों की उपस्थिति अनिवार्य होनी चाहिए, लेकिन पूर्व सैनिकों को दरकिनार करना न्यायोचित नहीं है। इस विषय को लेकर मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर को एक पत्र लिखा गया है। पंद्रह जनवरी को हिमाचल प्रदेश पूर्व सैनिक कल्याण समिति की बैठक प्रदेशाध्यक्ष सूबेदार प्रकाश चंद की अध्यक्षता में सर्किट हाउस बिलासपुर में आयोजित मीटिंग में निर्णय लिया गया था कि समारोह मंे आमंत्रित किए जाने को लेकर 24 जनवरी तक का इंतजार किया जाएगा और उसके बाद ही जिला प्रशासन और सरकार के खिलाफ मोर्चा खोला जाएगा। दुखद बात है कि तय अवधि बीतने के बाद भी कोई निमंत्रण न मिलने से खफा पूर्व सैनिकों ने सरकार व प्रशासन के खिलाफ झंडा बुलंद कर दिया है। सूबेदार प्रकाशचंद के अनुसार प्रदेश सरकार, जिला प्रशासन व पूर्व सैनिक कल्याण विभाग द्वारा बीते छह वर्षों से लगातार स्वतंत्रता दिवस व गणतंत्र दिवस के अवसरों पर जिला के पूर्व सैनिकों को इन कार्यक्रमों से दूर रखा जा रहा है। सूबेदार प्रकाश चंद ने बताया कि इस विषय के बारे में मुख्यमंत्री को पत्र देकर अवगत करवाया था कि पूर्व सैनिकों की लगतार इन दिवसों पर अनदेखी हो रही है, जो एक चिंता का विषय है। उन्होंने कहा कि अफसोस की बात है कि केवल मात्र कागजों में खोखले वादे किए जाते हैं। जबकि हकीकत कुछ और ही है। उन्होंने इस बात पर गहरा रोष जताया कि महज 48 घंटे शेष बचे हैं। जिला स्तरीय गणतंत्र दिवस समारोह के आयोजन के लिए, लेकिन अफसोस कि अभी तक पूर्व सैनिकों को प्रशासन की और से न तो कोई फोन आया है और न ही कोई लिखित संदेश। ऐसे में घोर अनदेखी से खफा हैं और इस मसले पर अगली बैठक में चर्चा कर आगामी रणनीति तैयार की जाएगी। सूबेदार प्रकाश चंद ने कहा कि शायद प्रशासन और सरकार को पूर्व सैनिकों का अपनी छाती पर मेडल लगाकर आना ऐसे कार्यक्रमों में पसंद नहीं है तभी तो कार्यक्रम में आमंत्रित करने बारे जहमत नहीं उठाई गई। दूसरी ओर, कैप्टन संजय कुमार, कैप्टन परस राम, कैप्टन कृष्ण राम, जोगेंद्र सिंह, कैप्टन सीताराम, कैप्टन प्रीतम सिंह, कैप्टन हंसराज, कैप्टन पृथी सिंह, फ्लाइंग आफिसर निक्काराम, सूबेदार रतन लाल, सूबेदार मेजर राजेंद्रपाल, सूबेदार जीतराम, सूबेदार लेखराम, नायब सूबेदार यशपाल, लच्छूराम, जगदीश, देशराज, सुरेंद्र कुमार, पुष्पेंद्र शर्मा, नंदलाल व ओंकार और अमर नाथ सहित अन्य पूर्व सैनिकों ने प्रशासन और सरकार के रवैये पर गहरा दुख जताया है।