हिमाचल आने को उत्साहित बड़े औद्योगिक घराने

By: Feb 1st, 2019 12:07 am

हैदराबाद में राइजिंग हिमाचल रोड शो, सीएम से चर्चा के बाद 150 से ज्यादा कंपनी प्रतिनिधियोंं ने दिए निवेश के संकेत

शिमला – हिमाचल में 85 हजार करोड़ रुपए निवेश जुटाने की सरकारी मुहिम सफलता की ओर बढ़ती नजर आ रही है। यही कारण है कि अपोलो हॉस्पिटल, डाक्टर रेड्डीज़ लैब, आईटीसी लिमिटेड, नागार्जुन कंस्ट्रक्शन, ग्रीनको और माइक्रोमैक्स मोबाइल जैसी कंपनियों ने प्रदेश में निवेश की संभावनाएं तलाशी हैं। बुधवार को बंगलूर में सफल इन्वेस्टर रोड शो के बाद मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर अपने कुशल सहयोगियों के साथ गुरुवार को तेलंगाना की राजधानी हैदराबाद पहुंचे, जहां देश की दिग्गज कंपनियों के उच्च पदस्थ प्रतिनिधि मुख्यमंत्री से मिले और हिमाचल में निवेश करने की इच्छा जताई। अपोलो हॉस्पिटल प्रदेश के दूरवर्ती क्षेत्रों में टेलिमेडिसिन को बढ़ावा देने को उत्सुक हैं, तो डाक्टर रेड्डीज़ लैब बद्दी में उद्योग विस्तार करना चाहती है। नागार्जुन कंस्ट्रक्शन कंपनी होटल, सड़कों, पुलों और सुरंगों के निर्माण में सहभागिता निभाना चाहती है, तो ग्रीनको प्रदेश में नवीकरणीय ऊर्जा भंडारों की स्थापना को लालायित है। इन्वेस्टर मीट के दूसरे दिन हैदराबाद में गुरुवार को राइजिंग हिमाचल-2019 का रोड शो आयोजित किया गया। हिमाचल सरकार एक निवेश मित्र औद्योगिक नीति है, जो राज्य में निवेश करने के इच्छुक उद्यमियों को कई रियायतें और प्रोत्साहन प्रदान कर रही है। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर हैदराबाद में राज्य सरकार द्वारा उद्योग परिसंघ सीआईआई के सहयोग से आयोजित रोड शो-बिजनेस टू गवर्नमेंट के दौरान उद्यमियों और निवेशकों को संबोधित करते हुए बोल रहे थे। जयराम ठाकुर ने उद्यमियों को आश्वासन दिया कि उद्योग, पर्यटन, शिक्षा, स्वास्थ्य, खाद्य प्रसंस्करण में निवेश करने के इच्छुक निवेशकों को सरकार लैंड पार्सल के साथ बेहतर कनेक्टिविटी और आधारभूत संरचना प्रदान करेगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार का निवेशकों तक पहुंचे का यह पहला प्रयास है कि और राज्य में निवेश के लिए उन्हें प्रोत्साहित करना है। उन्होंने कहा कि राज्य में कानून और व्यवस्था की बहुत अच्छी स्थिति है और यहां जवाबदेह और जिम्मेदार प्रशासन है, जो राज्य को उद्यमियों के लिए निवेश का पसंदीदा स्थान बनाता है।   मुख्यमंत्री ने कहा कि आवास, बिजली उत्पादन, सीए स्टोर, सॉफ्टवेयर प्रौद्योगिकी पार्कों और इसी तरह से पर्यटन, बुनियादी ढांचे और औद्योगिक अधोसंरचनात्मक ढांचे जैसे क्षेत्रों में निजी क्षेत्र की भागीदारी लाभदायक साबित हो सकती है। उन्होंने कहा कि प्रदेश का प्रदूषणमुक्त वातावरण व शांत पर्यावरण, सांस्कृतिक और भाषाई विविधता राज्य में आगंतुकों को साहसिक गतिविधियां, वन्य जीव, पर्यावरण, पर्यटन, वेलनेस सेंटर, सांस्कृतिक विरासत, आध्यात्मिकता, पुरातन स्मारक, धार्मिक पर्यटन, स्कीइंग आदि के विभिन्न विकल्प प्रदान करता है। जयराम ठाकुर ने कहा कि राज्य सेब, प्लम, खुमानी, कीवी, अखरोट और नाशपाती जैसे फलों का एक प्रमुख उत्पादक है तथा इसी के चलते यहां खाद्य प्रसंस्करण और इससे संबद्ध उद्योगों के लिए अपार अवसर प्रदान करता है। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर कई प्रमुख कंपनियों के मुख्य कार्यकारी अधिकारियों के साथ बैठक की तथा इसमें से कई उद्यमियों ने राज्य में निवेश में रुचि दिखाई।

अपोलो सहित कई कंपनियां इन्वेस्टमेंट को तैयार

मुख्यमंत्री ने प्रमुख कंपनियों के सीईओ और उच्च अधिकारियों के साथ बैठकें भी की,  जिसमें अपोलो अस्पताल, डा. रेड्डीज लैब, रैमकी एनवायरो इंजीनियर्स, आईटीसी लिमिटेड, डीपी चॉकलेट्स, केएसके एनर्जी, माइक्त्रोमैक्स, एमएनआर गु्रप, ई नॉलेज, वेंचर्स, नेफ्रोप्लस, डोडला डेयरी आदि ने हिमाचल में निवेश योजनाओं के बारे चर्चा की। नागार्जुन कंस्ट्रक्शन कंपनी के प्रबंध निदेशक एनआर अलुरी ने रिजॉर्ट्स, होटल, सड़कों, सुरंगों और पुलों से संबंधित परियोजनाओं में निवेश करने में रुचि दिखाई। ग्रीनको कंपनी के सीएमडी अनिल चालामाशेट्टी ने कहा कि कंपनी भारत की अग्रणी नवीकरणीय ऊर्जा कंपनियों में से एक है और उन्होंने राज्य में एकीकृत नवीकरणीय ऊर्जा भंडारण परियोजनाओं की स्थापना में रुचि दिखाई। रामी एनवायरो इंजीनियर्स के संयुक्त प्रबंध निदेशक मसूद मलिक ने राज्य में अपशिष्ट प्रबंधन और जैव चिकित्सा अपशिष्ट प्रबंधन संयंत्रों की स्थापना में रुचि दिखाई। पूजोलोना मशीनरी फैब्रिकेटर्स के निदेशक प्रकाश पाई ने खाद्य प्रसंस्करण और रियल एस्टेट में निवेश करने में रुचि दिखाई। अपोलो हॉस्पिटल्स के संयुक्त प्रबंध निदेशक राज्य के दूरदराज के क्षेत्रों में टेलीमेडिसिन के विस्तार के साथ-साथ अस्पतालों और निदान केंद्र की स्थापना में निवेश में रुचि दिखाई।

कौशल विकास केंद्र खोलने को भी तैयार हैं निजी कंपनियां

डा. रेडीज के प्रबंध निदेशक व सह अध्यक्ष जीवी प्रसाद ने बद्दी में अपनी औद्योगिक इकाई के विस्तार व ई-नॉलेज वेंचर्स प्राइवेट लिमिटेड के मुख्य कार्यकारी अधिकारी ने राज्य में कौशल विकास के लिए प्रशिक्षण केंद्र स्थापित करने में रुचि दिखाई। नैफरो प्लस के उपाध्यक्ष रोहित सिंह ने राज्य में डाईलेसिस सेंटर स्थापित करने में रूचि दिखाई। डोडला कंपनी के प्रबंध निदेशक सुनील रेड्डी ने डेयरी अधोसंरचना विकास में रुचि दिखाई।


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