शोध पर शूलिनी के होनहार नवाजे

सोलन—हिमाचल प्रदेश स्थित शूलिनी यूनिवर्सिटी के स्टूडेंट्स को विशेषज्ञता के अपने क्षेत्रों में शोध करने के लिए नेशनल ग्रांट्स एंड इंटरनेशनल स्कॉलरशिप से सम्मानित किया गया, जिसमें दो स्टूडेंट्स, अमनप्रीत कौर विर्क और आलिया अली, पीएचडी स्कॉलर्स, ने लॉकहीड मार्टिन और टाटा ट्रस्ट 2.0 यूनिवर्सिटी चैलेंज, 2019 द्वारा प्रायोजित इंडिया इनोवेशन ग्रोथ प्रोग्राम के तहत विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग द्वारा 10 लाख रुपए की प्रतिष्ठित ग्रांट का अवार्ड प्राप्त किया है। शूलिनी यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर पीके खोसला ने स्टूडेंट्स को बधाई देते हुए कहा कि यह प्रोजेक्ट देश भर से आईआईटी और अन्य स्थापित संस्थानों सहित 800 से अधिक एंट्रीज के साथ मुकाबला करते हुए जीता गया है। उनकी परियोजना पानी के आसान और सस्ते फिल्टर के लिए डिप बैग के माध्यम से मोरिंगा के बीजों का उपयोग करके पानी को शुद्ध करने की सस्ती तकनीक विकसित करने से संबंधित है। दोनों रिसर्च स्कॉलर्स को बड़े लेकिन आसान प्योरीफायर फिल्टर के लिए एक प्रोटोटाइप विकसित करने के लिए ग्रांट से सम्मानित किया गया है, जो ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले लोगों द्वारा आसानी से इस्तेमाल किया जा सकता है जो पीने योग्य पानी के लिए धाराओं और नदियों पर निर्भर हैं। अवॉर्ड जीतने वाले इस प्रोजेक्ट को दोनों स्टूडेंट्स ने प्रो. सौरभ कुलश्रेष्ठ, डीन, रिसर्च एंड डिवेलपमेंट के मार्गदर्शन से बनाया है। इस बीच, यूनिवर्सिटी के फार्मेसी विभाग के तीन पोस्ट ग्रेजुएट स्टूडेंट्स को अक्टूबर में दुबई में आयोजित होने वाली 34वीं वर्ल्ड कांग्रेस ऑफ  न्यूरोलॉजी में अपने शोध कार्य को प्रस्तुत करने के लिए 50 हजार रुपए प्रति स्टूडेंट्स और यात्रा व्यय के साथ सम्मानित किया गया है। वर्ल्ड फेडरेशन ऑफ  न्यूरोलॉजी द्वारा न्यूरोलॉजिकल साइंस के क्षेत्र में मास्टर्स इन फार्मेसी (प्रथम वर्ष) में पढ़ रहे लक्षय ठाकुर, अजय शर्मा और राहुल कुमार को मास्टर्स इन रिसर्च वर्क के लिए ग्रांट दी गई है। वे गंभीर अल्जाइमर के इलाज पर काम कर रहे हैं, जिसको लेकर अब तक बहुत सीमित उपचार उपलब्ध है और वह भी केवल लक्षणों को कम करने के लिए लेकिन बीमारी को ठीक करने के लिए नहीं हैं। उनकी भागीदारी, उच्च अध्ययन के लिए सहयोग करने और काम करने के भविष्य के अवसरों को खोलती है।