गुजरात मॉडल की तर्ज पर बनेगी स्मार्ट सिटी

शिमला -राजधानी में स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट गुजरात मॉडल पर बनेगा। हाल ही में नगर निगम शिमला की महापौर कुसुम सदरेट सहित 20 सदस्यीय टीम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के गृह राज्य गुजरात का दौरा कर वापस लौटी। कुसुम सदरेट की टीम ने गुजरात में शुरू हुए स्मार्ट सिटी सहित अन्य प्रोजेक्ट्स पर स्टडी की। ऐसे में अब स्मार्ट सिटी शिमला को गुजरात मॉडल की तर्ज पर शुरू करने के लिए रोडमैप तैयार होगा। स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट पर अब दिसंबर माह से काम शुरू होगा। हालांकि नगर निगम की मासिक बैठक में स्मार्ट सिटी के 28 प्रोजेक्ट पर पे्रजेंटेशन भी दी जा चुकी है, लेकिन पहले चरण में 10 प्रोजेक्ट पर ही काम शुरू होना है। शुरूआत में शहर में एस्केलेटर, पार्किंग, फुटपाथ, फुटब्रिज व फलाईओवर का निर्माण किया जाएगा। इसके लिए एस्टीमेट फिगर तैयार किए गए हैं जो अपू्रवल के लिए बोर्ड में जाएंगे। शिमला स्मार्ट सिटी के तहत 53 प्रोजेक्ट्स पर काम होना है, लेकिन एनजीटी के आदेशों के चलते मात्र दस पर ही काम हो सकते हैं। यानी 43 प्रोजेक्ट्स पर काम सुप्रीम कोर्ट में होने वाली सुनवाई के बाद ही हो सकते हैं। उल्लेखनीय है कि शिमला को स्मार्ट सिटी का दर्जा नौ अगस्त 2017 को मिला था। उसके बाद पहली जनवरी 2018 को कंपनी एक्ट के तहत स्मार्ट सिटी का रजिस्ट्रेशन किया गया और 2905.97 करोड़ का बजट प्रस्तावित है। इसमें से अभी तक केंद्र सरकार ने 58 करोड़ और राज्य सरकार ने 42 करोड़ की राशि जारी कर दी है। यानी कुल मिला कर सौ करोड़ की राशि स्मार्ट सिटी शिमला को मिल चुकी है, लेकिन काम जीरो है। बताया गया कि सुप्रीम कोर्ट में प्रदेश सरकार ने मजबूती से पक्ष रखा है, लेकिन जब तक सुनवाई न हो तब तक स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट पर काम करना संभव नहीं है। पहले चरण में मात्र दस प्रोजेक्ट पर ही काम होना है।