परमाणु जंग का ‘शेख चिल्ली’

By: Oct 24th, 2019 12:05 am

पीओके में भारतीय सेना के पलटवार के ताजा आंकड़े सार्वजनिक किए गए हैं। उसके मुताबिक, बीते रविवार के हमले में 57 आतंकी ढेर हुए हैं और कुल सात आतंकी कैंपों को ‘मिट्टी’ बना दिया गया है। हमारी सेना ने करीब 3000 गोले बोफोर्स तोपों से बरसाए। अब नियंत्रण रेखा से 300 मीटर दूर पाकिस्तान फौज के नुमाइंदे अपने सैनिकों और आतंकियों की लाशें ढूंढकर इकट्ठा कर रहे हैं। पाकिस्तान के रेल मंत्री शेख रशीद ने चौकियों पर 20 फौजी या आतंकी मारे जाने की हकीकत को कबूल किया है। ऐसी सूचनाएं प्रधानमंत्री या रक्षामंत्री अथवा सेना प्रमुख या प्रवक्ता के जरिए सामने आएं, तो ज्यादा मौलिक लगती हैं, लेकिन पाकिस्तान के रेलमंत्री इस कदर कामेडियन हैं अथवा अनाप-शनाप बोलते रहते हैं कि उन्हें पाकिस्तान की सियासत का ‘शेख चिल्ली’ करार देते हैं। वजीर-ए-आजम या रक्षामंत्री अथवा सेना के जनरल बयान दें या न दें, लेकिन ‘शेख चिल्ली’ ने एक बार फिर 15 जनवरी तक भारत-पाक के दरमियान खौफनाक परमाणु जंग की धमकी दी है, लेकिन दूसरी तस्वीर यह है कि पाक फौज ने सात देशों के राजदूतों को हेलीकॉप्टर से पीओके की सैर कराई, ताकि वे भारतीय सेना के हमले का सच देख सकें। इस ‘शेख चिल्ली’ वजीर का यह भी दावा था कि सरहद पर ‘अघोषित जंग’ शुरू हो चुकी है, जो कभी भी परमाणु युद्ध में तबदील हो सकती है। इस बयान का न तो प्रधानमंत्री इमरान खान और न ही सेना प्रमुख जनरल बाजवा ने खंडन किया है। क्या ऐसे बयान पर गौर किया जाए? परमाणु जंग की नीति पाकिस्तान में भी है और नेशनल सुरक्षा परिषद भी है, जिसमें राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, राज्यों के गवर्नर, सेनाओं के प्रमुख आदि शामिल होते हैं। यह फैसला कोई ‘शेख चिल्ली’ नहीं कर सकता कि परमाणु जंग शुरू की जाए। अब यह दीगर है कि अराजक पाकिस्तान के हुक्मरान अपनी ही नीतियों और परिषद के कायदे-कानूनों को मानें या न मानें। कूटनीति के स्तर पर तो पाकिस्तान भारत को ‘खलनायक’ साबित नहीं कर पाया है, क्योंकि राजदूतों को उस तरफ  नहीं ले जाया गया, जहां आतंकी लांच पैड थे और अब ज्यादातर की ‘मिट्टी’ वहां पड़ी है। राजदूतों को वह सच भी नहीं दिखाया गया, जिसमें पीओके के लोग ‘आजादी का आंदोलन’ छेड़े हुए हैं। उन पर सेना और पुलिस ने लाठीचार्ज किया और गोलीबारी भी की। नतीजतन दो मासूम मारे गए और करीब 100 लोग जख्मी हुए हैं। पाकिस्तान किन मानवाधिकारों की बात करता रहता है! यह ‘शेख चिल्ली’ मंत्री वही है, जो पाव भर परमाणु बमों की बात करता रहता है, जो एक इंच, दो इंच, पौन इंच बमों की बात ऐसे करता है मानो खिलौने बेच रहा हो! परमाणु युद्ध कभी नहीं होगा, यह हमारा वैश्विक अभियानों के आधार पर विश्वास है। हम परमाणु हमलों के नतीजों पर पहले भी लिख चुके हैं कि पाकिस्तान का वजूद लगभग समाप्त हो जाएगा। बेशक नुकसान हमारा भी होगा। परमाणु हमले का प्रभाव दशकों तक रहेगा और अनुमानतः दो करोड़ लोग रेडिएशन का शिकार होंगे। सूरज की रोशनी करीब 25 फीसदी कम और लगभग इतना ही पानी सूख जाएगा। एशिया और दक्षिण एशिया से परे भी कई देशों में खेती प्रभावित होगी, खेत-खलिहान बंजर हो जाएंगे। ओजोन परत भी प्रभावित होगी। ऐसी विभीषिका और त्रासदी के बारे में क्या जानें विदूषक पाकिस्तानी मंत्री! हालांकि अमरीका की एक डिफेंस रपट है कि 2025 तक पाकिस्तान के पास 220-250 परमाणु बम होंगे और विश्व में उसका 5वां स्थान हो जाएगा। यह भी खौफनाक संकेत है और निरस्त्रीकरण के अभियान को भारी धक्का लगेगा, लेकिन पाकिस्तान की सोच है कि भूखा मरेंगे, लेकिन बम जरूर बनाएंगे। इस पूरे परिदृश्य में भारत के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने स्पष्ट कर दिया है कि भारत ने न कभी किसी देश पर आक्रमण किया है और न ही कभी कब्जा किया है, लेकिन हमारी सेनाओं में इतनी ताकत है कि यदि किसी ने हमें छेड़ा, तो हमारी सेनाएं उसका मुंह तोड़ जवाब जरूर देंगी। पाकिस्तान पीओके में बानगी देख चुका है। लिहाजा वह एटम-एटम चिल्लाना भी बंद कर दे। इसकी नियति कोई नहीं जानता।


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