स्विस बैंकों में भारतीयों के खातों का कोई वारिस नहीं

By: Nov 11th, 2019 12:03 am

 नई दिल्ली -स्विट्जरलैंड के बैंकों में भारतीयों के करीब एक दर्जन निष्क्रिय खातों के लिए कोई दावेदार सामने नहीं आया है। ऐसे में यह आशंका बन रही है कि इन खातों में पड़े धन को स्विट्जरलैंड सरकार को ट्रांसफर किया जा सकता है। स्विट्जरलैंड सरकार ने 2015 में निष्क्रिय खातों के ब्योरे को सार्वजनिक करना शुरू किया था। इसके तहत इन खातों के दावेदारों को खाते के धन को हासिल करने के लिए आवश्यक प्रमाण उपलब्ध कराने थे। इनमें से दस खाते भारतीयों के भी हैं। इनमें से कुछ खाते भारतीय निवासियों और ब्रिटिश राज के दौर के नागरिकों से जुड़े हैं। स्विस प्राधिकरणों के पास उपलब्ध आंकड़ों के अनुसार पिछले छह साल के दौरान इनमें से एक भी खाते पर किसी भारतीय के ‘वारिस’ ने सफलतापूर्वक दावा नहीं किया है। जानकारी के मुताबिक इनमें दो खाते कोलकाता, एक देहरादून, दो मुंबई से हैं। कुछ ऐसे हैं, जिनके मालिक फिलहाल फ्रांस या यूके में रहने लगे। इनमें से कुछ खातों के लिए दावा करने की अवधि अगले महीने समाप्त हो जाएगी। वहीं कुछ अन्य खातों पर 2020 के अंत तक दावा किया जा सकता है। दिलचस्प यह है कि निष्क्त्रिय खातों में से पाकिस्तानी निवासियों से संबंधित कुछ खातों पर दावा किया गया है। इसके अलावा खुद स्विट्जरलैंड सहित कुछ और देशों के निवासियों के खातों पर भी दावा किया गया है। जमा हैं 300 करोड़ रुपए से ज्यादाः दिसंबर, 2015 में पहली बार ऐसे खातों को सार्वजनिक किया गया था। सूची में करीब 2600 खाते हैं, जिनमें 4.5 करोड़ स्विस फ्रेंक या करीब 300 करोड़ रुपए की राशि पड़ी है। 1955 से इस राशि पर दावा नहीं किया गया है। सूची को पहली बार सार्वजनिक किए जाते समय करीब 80 सुरक्षा जमा बॉक्स थे। स्विस बैंकिंग कानून के तहत इस सूची में हर साल नए खाते जुड़ रहे हैं। अब इस सूची में खातों की संख्या करीब 3500 हो गई है।

 


Keep watching our YouTube Channel ‘Divya Himachal TV’. Also,  Download our Android App