सीएम ने ऑर्डर किए थे, लेकिन अफसरों ने…

प्राइवेट बस आपरेटर्ज यूनियन ने परिवहन मंत्री को सौंपा दर्द भरा मांग पत्र, 16 नवंबर का सचिवालय में सीएम ने रूट परमिट पर दिए थे निर्देश

तपोवन – परिवहन मंत्री गोविंद ठाकुर से मिलने पहुंचा जिला कांगड़ा बस आपरेटर यूनियन का दल

तपोवन –जिला कांगड़ा प्राइवेट बस आपरेटर्ज यूनियन के सदस्यों ने विधानसभा सत्र के चौथे दिन परिवहन  मंत्री गोविंद सिंह ठाकुर के समक्ष अपनी समस्याओं को रखा। यूनियन के अध्यक्ष हैप्पी अवस्थी ने जानकारी देते हुए बताया कि मुख्यमंत्री के साथ 16 नवंबर, 2019 को  प्रदेश सचिवलय में मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में राज्य स्तरीय बैठक निजी बस आपरेटर प्रतिनिधियों के साथ हुई थी। इस बैठक में निजी बस आपरेटरों ने 15 साल पुरानी बस को रूट परमिट पर इंटर करने के लिए प्रस्ताव मुख्यमंत्री के समक्ष रखा था, जिस पर लगभग पिछले तीन सालों से विभाग द्वारा रोक लगाई हुई थी। अध्यक्ष ने बताया कि इस विषय पर विस्तार से चर्चा के उपरांत मुख्यमंत्री द्वारा 12 वर्ष पुरानी बस को रूट परमिट पर इंटर करने की स्वीकृति प्रदान की गई थी। हैप्पी ने बताया कि आज दिन तक  परिवहन अधिकारियों द्वारा इसके बाबत आदेश पारित नहीं किए गए है। यूनियन के सदस्यों ने परिवहन मंत्री गोविंद सिंह ठाकुर से मांग करते हुए कहा कि परिवहन अधिकारियों को इस संबंध में निर्देश जारी किए जाएं। इस मौके पर अध्यक्ष हैप्पी अवस्थी, उपप्रधान शिव चौधरी, प्रवीध दत्त, वरिंद्र सिंह मनकोटिया, अध्यक्ष ढलियारा यूनियन जगरूप सिंह, ओंकार सिंह, संसार चंद, दुर्गा दास, बलदेव सिंह जग्गी, रविंद्र पठानियाख् जतिंद्र सिंह, सुरेंद्र राणा व मलकीत ठाकुर आदि उपस्थित थे।

नूरपुर विकास संघर्ष समिति ने सीएम से की भेंट

तपोवन। नंदपुर विकास संघर्ष समिति ने तपोवन में मुख्यमंत्री से भेंट कर नंदपुर-गुलेर सड़क पर नंदनाला माहला खड्ड पर पुल निर्माण की बाधा दूर करने की मांग उठाई है। समिति के अध्यक्ष एसएल गोदारा के नेतृत्व में तपोवन पहुंचे प्रतिनिधिमंडल ने मुख्यमंत्री के समक्ष स्पष्ट किया कि देहरा के विधायक होशियार सिंह की अध्यक्षता में अगस्त 2019 में उपरोक्त समस्या के समाधान के लिए उनसे प्रतिनिधिमंडल मिला था और उन्होंने आश्वासन दिया था कि जल्द इसके लिए पर्याप्त धनराशि का प्रावधान किया जाएगा। वहीं प्रमुख अभियंता लोक निर्माण विभाग शिमला को भी आवश्यक कारवाई करने के लिए प्रधान सचिव लोक निर्माण विभाग ने आदेश जारी किए थे, लेकिन अभी तक इस दिशा में कोई भी कारवाई नहीं हुई। उन्होंने मुख्यमंत्री से मांग उठाई कि जल्द इस दिशा में ठोस कदम उठाकर पर्याप्त धनराशि का प्रावधान करवाया जाए, जिससे नंदनाला पर पुल निर्माण का रास्ता साफ  हो सके।

पर्यटन ग्लोबल मीट करवाए सरकार                                                                                                   

धर्मशाला। नूरपुर के विधायक राकेश पठानिया ने हिमाचल में ग्लोबल पर्यटन मीट करवाने की मांग उठाई है। पर्यटन की दौड़ में हिमाचल पीछे हट रहा है।  एडवेंचर स्पोटस व ट्रैकिंग साइट सहित अनेक माध्यमों से पर्यटन को बढ़ाया जा सकता है। उन्होंने इस क्षेत्र में काम न होने पर गहरी चिंता व्यक्त करते हुए इस मुद्दे पर अलग से नीति बनाकर काम करने की मांग उठाई है।

सीएम से मिली इंडिपेंडेंट स्कूल एसोसिएशन

तपोवन। इंडिपेंडेंट स्कूल एसोसिएशन प्रदेश का एक प्रतिनिधिमंडल गुरुवार को अध्यक्ष डा. गुलशन कुमार की अध्यक्षता में मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर व शिक्षा मंत्री सुरेश भारद्वाज से विधानसभा तपोवन में अपनी मांगों को लेकर मिला। प्रतिनिधिमंडल ने अपनी मांगों को मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर के समक्ष रखा। डा. गुलशन कुमार ने कहा कि उनकी मुख्यतः मांगें, जिसमें निजी स्कूलों में पीटीए का गठन व हर वर्ष बढ़ाई जाने वाली निजी स्कूलों की फीस व अन्य खर्चों के बारे में लिखा गया कि सरकार हर वर्ष हमें 12 प्रतिशत से 14 प्रतिशत की वृद्धि करने की अनुमति प्रदान की जाए। उपरोक्त विषयों के उपर मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने प्रतिनिधिमंडल की बातों को ध्यान से सुना व जल्द ही इसकी एक बैठक करने का आश्वासन दिया। प्रतिनिधिमंडल में एसोसिएशन के पदाधिकारी अंरविद, वासू, संजय शर्मा, सुधांशु, पंकज, सचिन, रिपूदमन, ललिता, डा. छवि, गुरपाल, रणवीर, किशोर आदि मौजूद रहे।

लालटेन लिए तपोवन पहुंची डाढ की शालिनी

तपोवन। मुख्यमंत्री के आश्वासन के बावजूद डाढ निवासी विवेक परमार को न्याय नहीं मिला है। यही वजह रही कि डाढ की निवासी एडवोकेट शालिनी पुत्री चमन लाल परमार हाथ में लालटेन लिए तपोवन विधानसभा पहुंची। एडवोकेट शालिनी के मुताबिक उसका भाई विवेक परमार नोएडा में मल्टी नेशनल कंपनी में सीनियर इंजीनियर था और 31 मार्च, 2018 को उसकी सात लोगों ने हत्या कर दी थी।

गद्दी यूनियन ने सीएम को सौंपा मांग पत्र

तपोवन।  हिमाचली गद्दी यूनियन ने राजस्व विभाग में 13 उपजाजियों के समक्ष गद्दी शब्द न होने हेतु एक मांग पत्र मुख्यमंत्री को सौंपा। हिमाचली गद्दी यूनियन के अध्यक्ष महिंद्र सिंह ने बताया कि गद्दी एवं जाति नहीं है, वह एक समुदाय है, जिसके अतंर्गत 13 उपजातियां आती है। महिंद्र ने बताया कि इन 13 जातियों में से सात जातियोें के समक्ष राजस्व रिकार्ड में तो गद्दी शब्द जुड़ा हुआ है, लेकिन अन्य छह जातियों के समक्ष यह शब्द नहीं जुड़ा हुआ है। यूनियन के सदस्योें ने मुख्यमंत्री से गुहार लगाते हुए कहा कि इन छुटी हुई उपजातियां जो जिला कांगड़ा, चंबा व मंडी में पाई जाती है, उनके लिए राजस्व विभाग को गद्दी शब्द जोड़ने के आदेश जारी करें।