मां भीमाकाली मंदिर

By: Jan 4th, 2020 12:25 am

हिमाचल प्रदेश को देवभूमि के नाम से जाना जाता है। यहां पर देवी-देवताओं के अनेक मंदिर हैं। यहां के लोग पूरी श्रद्धा और विश्वास के साथ देवी-देवताओं को पूजते हैं तथा उनका आशीर्वाद प्राप्त करते हैं। प्रदेश के हर जिले का हर मंदिर अपनी कोई न कोई विशेषता लिए हुए है…

ब्यास नदी के किनारे स्थित है मंदिर-

इसी प्रकार जिला मंडी हिमाचल प्रदेश में मंडी-पठानकोट राष्ट्रीय राजमार्ग पर ब्यास नदी के तट पर स्थित है मां भीमाकाली का मंदिर। मां काली दुर्गा का ही रूप है, जिसे भारत के उत्तर पूर्वी भागों में व्यापक रूप में पूजा जाता है। भीमाकाली का यह मंदिर मुख्य बस स्टैंड मंडी से मात्र 1 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है।

यादव अनुयायियों ने बनाया था यह मंदिर-

इस जगह पर भगवान श्री कृष्ण ने बाणासुर को मार डाला था । कृष्ण के बाद  उनके यादव अनुयायियों ने इस मंदिर को बनवाया था। माता भीमाकाली को रामपुर बुशहर के राजाओं की आराध्या देवी माना जाता है और भीमाकाली देवी का प्रसिद्ध मंदिर और मुख्य मंदिर सराहन में ही माना जाता है।

तीसरी मंजिल में विराजमान हैं मां-

इस मंदिर की महत्ता भी कम नही है और यहां हर साल काफी बड़े स्तर पर काली देवी की पूजा की जाती है । मंदिर परिसर काफी सुंदर बनाया गया है और एक लंबे से घुमावदार रास्ते से चलकर दूसरी मंजिल और फिर तीसरी मंजिल पर पहुंचा जाता है। सबसे उपर की मंजिल पर मां विराजमान हैं।

सुंदर वाटिका भी है यहां-

स्थानीय मंदिर संस्थान के प्रयासों से यहां मां के मंदिर परिसर में सुंदर फूलों की वाटिका बनाई गई है। इसके साथ-साथ बच्चों के मनोरंजन का भी पूरा ध्यान रखा गया है। मंदिर संस्थान ने नदी के किनारों को भी काफी सुंदरता से सजाया है।  मंदिर के दाहिनी तरफ  नीचे की ओर शेरों की मूर्तियां सुंदर बनाई गई हैं। इसी स्थान पर वन को जाते पांडवों की प्रतिमाएं भी लगाई गई हैं, जो पांडव काल की याद ताजा करती हैं। लोगों की इस मंदिर में अटूट श्रद्धा व आस्था है।


Keep watching our YouTube Channel ‘Divya Himachal TV’. Also,  Download our Android App