दंगाइयों को देखते ही गोली मारने के आदेश

By: Feb 26th, 2020 12:08 am

दिल्ली में और बिगड़े हालात; अब तक 13 की मौत, 200 से ज्यादा घायल, चार इलाकों में कर्फ्यू, राज्य की सीमाएं सील

नई दिल्ली – उत्तर पूर्वी दिल्ली में संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) को लेकर रविवार को शुरू हुई सांप्रदायिक झड़पें लगातार तीसरे दिन यानी मंगलवार को भी जारी रहीं और आगजनी के बाद धुएं का गुबार कई जगह से उठता देखा गया। धारा 144 लागू होने के बावजूद मौजपुर और ब्रह्मपुरी इलाके में पत्थरबाजी की घटनाएं हुईं। भीड़ में शामिल लोग पत्थर बरसा रहे थे, दुकानों में तोड़फोड़ कर रहे थे और स्थानीय लोगों को धमका रहे थे। गोकुलपुरी और वेलकम थाना इलाके में भी हिंसा के समाचार हैं, जबकि बाबरपुर रोड पर गाडि़यां जलाई गईं। इस हिंसा में अब तक 13 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि 60 से ज्यादा पुलिसकर्मी और 130 से ज्यादा लोग घायल हुए हैं। हालांकि मंगलवार शाम होते-होते पुलिस ने ऐलान कर दिया किस्थिति नियंत्रण में है, लेकिन कई इलाकों में तनाव है। कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए हिंसा प्रभावित इलाकों में अर्द्धसैनिक बलों की 35 कंपनियां भी तैनात की गई हैं। दिल्ली के चांदबाग, करावल नगर, मौजपुर और जाफराबाद में कर्फ्यू लगा दिया गया है। राज्य की सीमाओं को भी सील कर दिया गया है। उपद्रवियों को देखते ही गोली मारने के आदेश दे दिए गए हैं। उधर, अमरीकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के भारत दौरे और उनके दिल्ली पहुंचने से कुछ घंटे पहले हुई हिंसा के पीछे दिल्ली पुलिस ने सुनियोजित साजिश का अंदेशा जताया है। पुलिस के मुताबिक, ऐसा इसलिए किया जा रहा है ताकि दुनिया के सामने प्रधानमंत्री मोदी और भारत की छवि खराब की जा सके। ट्रंप सोमवार रात को दिल्ली के चाणक्यपुरी स्थित एक होटल में रुके थे। यह जगह हिंसा वाले इलाके से करीब 20 किलोमीटर की दूरी पर है। उधर, दिल्ली हिंसा को लेकर बैठकों का दौर जारी है। सोमवार शाम अमित शाह ने बैठक की थी। फिर मंगलवार सुबह अरविंद केजरीवाल ने प्रभावित इलाकों के विधायकों के साथ आपात बैठक की। इसके बाद अरविंद केजरीवाल और अमित शाह की बैठक हुई। गृह मंत्री के साथ बैठक खत्म होने के बाद अरविंद केजरीवाल ने कहा कि मीटिंग काफी सकारात्मक रही। सभी ने पार्टी पॉलिटिक्स से ऊपर उठकर मीटिंग में अपनी बात रखी। सबने तय किया है कि एक साथ मिलकर दिल्ली में शांति व्यवस्था बनाने के लिए प्रयास करेंगे। गृह मंत्री अमित शाह ने आश्वासन दिया है कि पुलिस की कोई कमी नहीं होगी।

ओवैसी बोले, दिल्ली बचानी है तो सेना करो तैनात

हैदराबाद – एआईएमआईएम के अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी ने नॉर्थ ईस्ट दिल्ली के हालातों को देखते हुए इसे सेना के सुपुर्द कर देने की सलाह दी है। असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि नॉर्थ ईस्ट दिल्ली की हालत बदतर होती जा रही है। यदि प्रधानमंत्री कार्यालय फिर से शांति चाहता है तो इस क्षेत्र को सेना के सुपुर्द कर देना चाहिए।

हाई कोर्ट पहुंचा हिंसा का मामला, आज सुनवाई

नई दिल्ली – नागरिकता संशोधन कानून को लेकर दिल्ली के नॉर्थ ईस्ट जिला के कई इलाकों में हिंसा के मामलेपर दिल्ली हाई कोर्ट में एक याचिका दाखिल की गई है, जिसमें हिंसा की जांच के लिए एसआईटी गठन की मांग की गई है। इस याचिका पर बुधवार को दिल्ली हाई कोर्ट सुनवाई के लिए तैयार हो गया है। उधर, सुप्रीम कोर्ट दिल्ली में सीएए को लेकर हाल ही में हुई हिंसा के मामले में प्राथमिकी दर्ज कराने की मांग करने वाली पूर्व मुख्य सूचना आयुक्त वजाहत हबीबुल्ला और अन्य की याचिका पर सुनवाई करने पर मंगलवार को तैयार हो गया। पीठ बुधवार को इस पर सुनवाई करेगी। हबीबुल्ला, भीम आर्मी के प्रमुख चंद्रशेखर आजाद और सामाजिक कार्यकर्ता बहादुर अब्बास नकवी ने यह याचिका दायर की है।


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