मत्स्य पालन में 35 हजार करोड़ का निवेश करेगी सरकार

मत्स्य पालन मंत्रालय के संयुक्त सचिव सागर महारा ने किया खुलासा, मनाली में तीन दिवसीय कार्यशाला का आगाज

मनाली –हिमाचल प्रदेश मत्स्य पालन विभाग और राष्ट्रीय मत्स्य विकास बोर्ड हैदराबाद के संयुक्त तत्वावधान से बुधवार को मनाली में ट्राउट पालन पर तीन दिवसीय कार्यशाला शुभारंभ किया गया। उक्त कार्यशाला का उद्घाटन केंद्रीय मत्स्य पालन मंत्रालय के संयुक्त सचिव सागर महारा ने किया। उन्होंने बताया कि केंद्र सरकार बड़े पैमाने पर मत्स्य पालन को बढ़ावा दे रही है। इसमें युवाओं के लिए स्वरोजगार की काफी अच्छी संभावनाएं हैं। इसके माध्यम से युवा अच्छी आय अर्जित कर सकते हैं। सागर महारा ने कहा कि मछली अपने आपमें एक उत्तम पौष्टिक आहार है। आने वाले समय में यह खाद्य सुरक्षा का एक महत्वपूर्ण स्त्रोत बनेगा। इसलिए किसानों-बागबानों को इसे एक वैकल्पिक आय स्रोत के रूप में अपनाना चाहिए। संयुक्त सचिव ने बताया कि केंद्र सरकार आने वाले समय में मत्स्य पालन पर लगभग 35 हजार करोड़ रुपए का निवेश करेगी। वर्ष 2022 तक किसानों की आय दोगुणी करने के लक्ष्य को हासिल करने की दिशा में यह महत्वपूर्ण कदम साबित होगा। सागर महारा ने बताया कि मत्स्य पालकों को किसान क्रेडिट कार्ड योजना से भी जोड़ा जा रहा है। इससे वे सस्ती दरों पर ऋण ले सकते हैं।  इस अवसर पर मत्स्य पालन विभाग के निदेशक सतपाल मैहता ने मुख्यातिथि, अन्य अतिथियों, विभिन्न वक्ताओं व मत्स्य पालकों का स्वागत किया। उन्होंने इस दौरान कार्यशाला की रूपरेखा की जानकारी भी दी। उक्त कार्यशाला में डेनमार्क के मत्स्य विशेषज्ञ भी भाग ले रहे हैं, जोकि ट्राउट पालन में नई तकनीकों के बारे में अपने विचार एवं अनुभव साझा कर रहे हैं। मनाली में बुधवार को शुरू हुई उक्त तीन दिवसीय कार्यशाला में जहां देश के विभिन्न क्षेत्रों से आए मत्स्य पालकों को मत्स्य पाल के बारे में विस्तार से जानकारी उपलब्ध करवाई जा रही है, वहीं मत्स्य पालन के माध्यम से किसान-बागबान अपनी आर्थिको किस तरह मजबूत कर सकते हैं इस बारे में भी टिप्स दिए जा रहे हैं। इस अवसर पर राष्ट्रीय मत्स्य विकास बोर्ड के अधिकारी रति राज, राजनाथ पंडिता और पांच राज्यों के मत्स्य पालन अधिकारी एवं मत्स्य पालक भी उपस्थित रहे।