मरीजों के लिए मिनी वेंटीलेटर

जिला अस्पतालों में खरीदी जाएंगी एंबुलेट्री मशीनें, आईजीएमसी कर रहा शुरूआत

शिमला –प्रदेश के अस्पतालों में एंबुलेट्री मशीनें खरीदी जाएंगी, इसके लिए स्वास्थ्य विभाग एक प्रस्ताव तैयार कर रहा है। बताया जा रहा है कि आईजीएमसी इसे लेकर एंबुलेंट्री मशीन खरीदने वाला है। ये मिनी वेंटीलेटर की तरह काम करेंगी। यह भी कहा जा सकता है कि ये मशीनें वेंटीलेटर की कमी को दूर करेंगी। अब आईजीएमसी प्रशासन इस ओर बड़ी पहल करने वाला है, जिसमें अस्पताल के मेडिसिन वार्ड के लिए इन मशीनों को खरीदा जाने वाला है। गौर हो कि जान बचाने के लिए जिला अस्पतालों में वेंटीलेटर की काफी कमी है। शिमला की बात की जाए तो जिला अस्पताल रिप्पन में तो एक वेंटीलेटर है वहीं प्रदेश के सबसे बड़े अस्पताल आईजीएमसी में वेंटीलेटर के आंकडों पर गौर करें तो आईजीएमसी में दस अडल्ट के लिए, आठ मेडिसिन वार्ड में एंबुलेट्री मशीन और छह वेंटीलेटर बच्चों के लिए हैं, जो जनता के हिसाब से बेहद ही कम हैं। इसकी संख्या को बढ़ाने के लिए यह कदम उठाया जाने वाला है। ऐसा ही एक मामला पिछले वर्ष आईजीएमसी में पेश आ चुका है। शिमला से लगभग तीन सौ किलोमीटर दूर से अपने बेटे के इलाज के  लिए विधवा मां आईजीएमसी तो पहुंची थी, लेकिन उसकी जान प्रदेश का सबसे बड़ा अस्पताल बचाने में असमर्थ साबित हुआ था। विधवा मां प्रेम कुमारी का ये आरोप था कि उसके बेटे क ो प्रदेश के  सबसे बड़े अस्पताल का दर्जा लिए बैठा आईजीएमसी एक वेंटीलेटर की सुविधा नहीं दे पाया था। जिस पर अब प्रदेश सरकार ने गंभीरता जाहिर की है, जिस पर सभी जिलों की वेंटीलेटर स्टेटस पर गौर करने के लिए कहा गया है, जिसमें जिला स्वास्थ्य प्रशासन से भी स्टेटस रिपोर्ट मांगी जा रही है। हालांकि वेंटीलेटर कमी मामले पर आईजीएमसी प्रशासन ने भी गंभीरता जाहिर की है। इस वर्ष आईजीएमसी में रोगी कल्याण समिति की बैठक  में भी वेंटीलेटर की कमी का मुद्द उठ चुका है।