ट्रांसफर पॉलिसी ने पांच ज़ोन में बांटा हिमाचल

By: Jul 14th, 2020 12:01 am

हिमाचल में शिक्षकों के लिए 80 अंकों की मैरिट तय; एक जगह तीन साल रहने के बाद होगी बदली, मंत्रियों के सामने दी प्रेजेंटेशन, कैबिनेट में मिलेगी अंतिम मंजूरी

शिमला – टीचर ट्रांसफर पॉलिसी के लिए 80 अंकों की मैरिट निर्धारित की गई है। इसके लिए समूचे प्रदेश को पांच ज़ोन में विभाजित किया गया है। पॉलिसी में मैक्सिमम टैन्योर पांच साल निर्धारित किया गया है। तीन साल तक एक ही ज़ोन में सेवाएं देने वाला अध्यापक ही ट्रांसफर के लिए पात्र होगा। जयराम सरकार की इस बहुप्रतीक्षित ट्रांसफर पॉलिसी की प्रेजेंटेशन शनिवार को मंत्री समूह के समक्ष दी गई है। इस आधार पर अब इसे फाइनल मंजूरी के लिए 20 जुलाई को संभावित कैबिनेट की बैठक में लाया जाएगा। ट्रांसफर पॉलिसी में पात्रता के लिए अध्यापकों को अलग-अलग जोन में सेवाएं देने के लिए अलग-अलग अंक दिए जाएंगे। कुल 80 अंकों की मैरिट के लिए प्रतिमाह अंक दिए जाने का प्रावधान है। खास है कि अंकों की मार्किंग ट्रांसफर पॉलिसी का सॉफ्टवेयर अपने आप करेगा। इसके लिए कोई मैनुअल वर्क नहीं होगा। हालांकि स्पेशल कैटेगिरी के तहत पूरे के पूरे 80 अंक देने का भी प्रावधान किया गया है। पॉलिसी में कहा गया है कि किसी अध्यापक की पत्नी या बच्चे 60 फीसदी से ज्यादा शारीरिक रूप से डिसएबल्ड हैं, तो इस सूरत में पूरे 80 अंक मिलेंगे। इसके अलावा पत्नी तथा बच्चों की गंभीर बीमारियों पर भी 80 अंक दिए जाएंगे। इन परिस्थतियों से जूझने वाले अध्यापकों को सॉफ्टवेयर च्वाइस का स्टेशन अलॉट कर देगा। पत्नी या बच्चे 40 से 59 प्रतिशत डिसएबल्ड होने पर 40 अंक मिलेंगे। फीमेल टीचर को पांच अतिरिक्त अंक दिए जाने का प्रावधान है। पत्नी न होने के कारण छोटे बच्चों की परवरिश का दायित्व निभाने वाले पुरुष अध्यापक को दस अतिरिक्त अंक मिलेंगे। इसके अलावा विधवा, तलाकशुदा और 45 वर्ष से अधिक अविवाहित महिला को पांच अंक दिए जाने का प्रावधान है।

ज़ोन ए

इस ज़ोन में सेवाएं देने वाले अध्यापक को प्रतिमाह दो अंक मिलेंगे। प्रदेश मुख्यालय में 30 किलोमीटर और जिला मुख्यालय में 15 किलोमीटर के भीतर की दूरी पर स्थित स्कूलों को इस ज़ोन में रखा गया है।

बी : इसमें कार्यरत अध्यापकों को प्रतिमाह तीन अंक मिलेंगे। इसके लिए स्टेट हैडक्वार्टर से 30 किलोमीटर से 50 किलोमीटर और जिला मुख्यालय से 15 किमी से 30 किमी के भीतर स्थित स्कूलों को शामिल किया गया है।

सी : ज़ोन-ए और ज़ोन-बी से बाहर के क्षेत्रों में स्थित स्कूलों को सी जोन में रखा गया है। इस ज़ोन में सेवाएं देने वाले अध्यापकों को प्रति माह चार अंक दिए जाएंगे।

डी : प्रदेश के जनजातीय क्षेत्रों को डी ज़ोन में शामिल किया गया है। हालांकि इस ज़ोन से हार्ड ट्राइबल एरिया को बाहर रखा गया है। ज़ोन-डी में सेवाएं देने वाले अध्यापकों को प्रतिमाह छह अंक मिलेंगे।

: प्रदेश के हार्ड ट्राइबल तथा सबसे दुर्गम क्षेत्रों मसलन डोडराक्वार और बड़ा भंगाल सरीखे इलाकों को ई ज़ोन में स्थान दिया गया है। इस ज़ोन में सेवाएं देने वाले को प्रतिमाह सर्वाधिक आठ अंक मिलेंगे।


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