कवियों ने याद किए हिमाचल निर्माता

जिला भाषा कार्यालय में ऑनलाइन कवि सम्मेलन में रचनाओं से बांधा समां

नाहन-भाषा एवं संस्कृति विभाग के जिला भाषा कार्यालय नाहन ने हिमाचल निर्माता डा. यशवंत सिंह परमार की जयंती पर मंगलवार को जिला स्तरीय ऑनलाइन कवि सम्मेलन आयोजित किया, जिसमें जिला भर के कवियों ने अपनी रचनाओं के माध्यम से हिमाचल निर्माता को याद किया। कार्यक्रम की अध्यक्षता वरिष्ठ साहित्यकार दीनदयाल वर्मा ने की। मंच का संचालन डा. ईश्वर राही ने किया, जबकि जिला भाषा अधिकारी अनिल हारटा विशेष रूप से मौजूद रहे। इस मौके पर अर्चना शर्मा ने क्षितिज तक चलना होगा, रामकुमार सैणी ने शम्आ महफिल में जलाए एक मुद्दत हो गई है, भुवन जोशी ने चन्हालग की माटी की कृपा बड़ी अनंत, हिमाचल की सेवा को हमें दिया यशवंत सुनाकर समां बांधा। घाटों से दिलीप विशिष्ठ ने हम मजदूर भईया हम मजबूर रे गीत पेश किया।

प्रताप पराशर ने हार मत स्वीकार कर, पंकज तन्हा ने दिया था जन्म जिसने प्यारे हिमाचल को उसके घर के रस्ते ही कच्चे सुनसान निकले, धनवीर सिंह परमार ने हिमाचल निर्माता पर पहाड़ी रचना पेश की। रामरतन शास्त्री, डा. ईश्वर राही, विद्यानंद सरैक, प्रेमपाल आर्य, रविता, दीपराज विश्वास, दीनदयाल वर्मा व ओम प्रकाश राही ने भी अपनी कविताओं से डा. यशवंत सिंह परमार को याद किया। अनंत आलोक ने कलयुग में कल बैल को पड़ी पेट पर मार, सरला गौतम ने बेबस मजदूर, गोपी चंद डोगरा ने आज भईया तेरे घर में आई, श्रीकांत अकेला ने जीवन की जोत जलाते रहो, तुम बस यूं ही मुस्कुराते रहो, सैनवाला से चिरआनंद ने हम लाए हैं फ्रांस से राफेल उड़ा के कविता पेश की। गजलकार नासिर यूसुफ ने तरन्नुम में गजल सुनाकर समां बांधा। जिला भाषा अधिकारी अनिल हारटा ने ऑनलाइन कवि सम्मेलन में शिकरत करने के लिए सभी कवियों का आभार प्रकट किया।