मां वैष्णो देवी की मूर्ति से निकल रहा सिंदूर

चकबन कालीधार के कोके में हर दिन भक्तों का उमड़ने लगा सैलाब

दिव्य हिमाचल ब्यूरो-ज्वालामुखी-कहावत है कि चमत्कार को नमस्कार है कुछ ऐसा ही देखने को मिल रहा है। ज्वालामुखी विधानसभा क्षेत्र के चकबन काली धार के गांव कोके में जहां पर राजकुमार और बीना देवी के घर में स्थापित माता वैष्णो देवी की मूर्ति से शीतकालीन नवरात्र के आठवें नवरात्र से मूर्ति से सिंदूर गिरने लगा है, जिसका ढेर वहां पर इकट्ठा हो गया है।

दूर-दूर से लोग इस मूर्ति और उससे निकलने वाले सिंदूर को देखने के लिए आ रहे हैं। यहां पर रोजाना हवन पूजा और चौकी का प्रबंध किया जा रहा है। राजकुमार और उनकी पत्नी वीणा देवी ने बताया कि उन्होंने आठ साल पहले यहां पर माता वैष्णो देवी की मूर्ति स्थापित की थी और वे रोजाना सुबह और शाम माता की आराधना पूजा और संध्या करते हैं, उनकी बेटियां भी माता की अनन्य भक्त हैं।

उन्होंने कहा कि शरद कालीन नवरात्र के आठवें नवरात्रि में जब भी पूजा करने लगे, तो माता की मूर्ति से सिंदूर गिरने लगा। उन्होंने उसे माता का प्रसाद समझकर ग्रहण कर लिया, परंतु सिंदूर इतना ज्यादा गिरने लगा कि वह एक ढेर में बदल गया, जिसे देखने के लिए दूर-दूर से लोग यहां पर आने लगे और माता के मंदिर में माथा टेकने लगे। उन्होंने कहा कि माता की कृपा उनके परिवार पर हुई है, क्योंकि हर रोज माता का ध्यान पूजा-अर्चना और संध्या करते हैं। ऐसे में मां की कृपा उनके परिवार पर आठवें नवरात्र को हुई है, जिसके लिए वे अपने आपको धन्य मान रहे है,  वे यहां पर माता का बड़ा मंदिर बनाने की इच्छा व्यक्त करते हैं और उसके लिए चाहे उन्हें कुछ भी करना पड़े, वे यहां मंदिर बनाएंगे, ताकि यहां पर आने वाले लोगों को मां के दर्शन हो सके। उन्होंने कहा कि माता की कृपा उनके परिवार पर हैं और उन्हें ऐसा महसूस होता है कि माता उनके अंग संग रहती है। माता के चमत्कार को सब लोग नमस्कार कर रहे हैं और यहां पर हवन, पूजा कीर्तन भजन और चौकी लग रही है, जिसमें भक्त लोग इकट्ठे होकर माता की पूजा आराधना कर रहे हैं। भक्तों को प्रसाद बांटा जा रहा है। लोग यहां पर माथा टेकने के लिए और माता का सिंदूर लेने के लिए जगह-जगह से आ रहे हैं।