फूलगोभी…मंडी में 40, दुकान में 80 रुपए

कांगड़ा में सब्जी मंडी से निकलते ही कुछ सब्जियों के डबल दाम, लॉकडाउन और बारिश की मार से बढ़े सब्जियों के रेट

कोरोना संकट में बेरोजगारी की मार और कई कारोबार के प्रभावित होने संग अब हरी सब्जियों के दामों ने भी अपना रंग दिखाना शुरू कर दिया है। सब्जी मंडी से निकलते ही कुछ सब्जियां डबल दाम के वरक चढ़ा ले रही हैं, जिसमें फूलगोभी, पत्ता गोभी, शिमला मिर्च, भिंडी व टमाटर मुख्य रूप से शामिल हैं। बाजार के मौजूदा हालात ऐसे बने है मानों सब्जियां मंडी से निकलने के बाद सब्जियों से सोने के वरक चढ़ा लिए हो।

हालांकि सब्जी के एकदम से उछले हुए दामों की वजह कोरोना लॉकडाउन व बारिश की मार भी बताई जा रही है।  वहीं, बरसात की बारिश के कारण भी कुछ क्षेत्रों में फसल तबाह हुई है, जबकि इसके बाद एकदम बारिश न होने से भी दिक्कतें हुई है। कुल मिलाकर अब सब्जियों के दाम आसमान छूते हुए नजर आ रहे हैं। वहीं, बचौलियों का खेल खत्म होने की बात भी सामने निकलकर आ रही है, जिससे हिमाचल प्रदेश सहित पड़ोसी राज्यों के कुछ हिस्सों में किसानों को भी सही दाम मिल रहे हैं, लेकिन मौजूदा समय में तो हर घर व रसोई की सबसे अहम जरूरत आलू-प्याज, टमाटर और फूलगोभी ने ही रसोई का जायका बिगाड़ दिया है।

बिना बिल-रेट लिस्ट सब्जियां बेचने पर कार्रवाई

खाद्य आपूर्ति विभाग कांगड़ा के धर्मशाला इंस्पेक्टर हरमिंद्र सिंह ने बताया कि एक दर्जन सब्जी विक्रेताओं के शहर में ही बिना सब्जी मंडी के बिल और रेट लिस्ट के बेचने पर कार्रवाई करते हुए एसडीएम के माध्यम से चालान भर दिए गए हैं। बिल व रेट लिस्ट जांच के शहर के हर क्षेत्र में निरीक्षण किए जा रहे हैं, अनियमितताएं होने पर कड़ी कार्रवाई की जा रही है।

 क्या कहते हैं सब्जी मंडी के प्रधान

सब्जी मंडी धर्मशाला के प्रधान मनोज वालिया का कहना है कि कोरोना लॉकडाउन के कारण जिन क्षेत्रों से सब्जियां व आलू-प्याज की सप्लाई अधिक आती है, वहां मजदूरों के जाने के कारण अधिक पैदावार नहीं हुई है। साथ ही भारी बरसात का मौसम और उसके बाद एकदम से बारिश न होने से भी खपत के मुकाबले पैदावार कम है। उनका कहना है कि बचौलियों का खेल खत्म होने से किसानों को भी कई स्थानों पर अच्छे दाम मिल रहे हैं, जिसमें कांगड़ा के ही बरोट व छोटा भंगाल का भी सही उदाहरण है, उन्हें भी अच्छे दाम मिल रहे हैं।