प्रदेश के वयोवृद्ध स्वतंत्रता सेनानी सत्यमित्र बख्शी का ऊना में निधन, आज अंतिम संस्कार

By: दिव्य हिमाचल ब्यूरो — ऊना Dec 4th, 2020 12:06 am

प्रदेश के वयोवृद्ध स्वतंत्रता सेनानी सत्यमित्र बख्शी (94)का निधन हो गया। श्री बख्शी ने गुरुवार को अपने निवास स्थान कांग्रेस गली ऊना में अंतिम सांस ली। उनके निधन से हर कोई शोक में है। डीसी ऊना राघव शर्मा ने उनके निधन पर दुख प्रकट किया है और बताया कि स्वतंत्रता सेनानी सत्य मित्र बक्शी का अंतिम संस्कार शुक्रवार को पूरे सम्मान के साथ किया जाएगा। वह ताउम्र देश व समाज के हित के लिए कार्य करते रहे। सत्यमित्र बख्शी ने अपने घर में श्री राम, भारत माता कस मंदिर बनाया हुआ है। जहां घर के दरवाजे से अंदर की दीवारों में स्वतंत्रता आंदोलन की यादें संजोई गई हैं। सत्य मित्र बक्शी आजादी की लड़ाई के बाद भी लगातार समाज के कार्यों में सक्रिय रहे।

उन्होंने अपनी पेंशन का अधिकतर हिस्सा जरूरतमंद बच्चों की शिक्षा में मदद के रूप में  छात्रवृत्ति देने में व्यय किया। उन्होंने 2008 से लेकर अभी तक एक हजार से अधिक जरूरतमंद व मेधावी विद्यार्थियों को 12 लाख रुपए से अधिक की सहायता सामाजिक संस्था हिमोत्कर्ष परिषद के माध्यम से छात्रवृत्ति के रूप में प्रदान की थी। हाल ही में उन्होंने गरीब विधवाओं की सहायता के लिए भारत माता मंदिर वेलफेयर सोसायटी को भी एक लाख रुपए की राशि प्रदान की थी। सन 1926 में स्वतंत्रता सेनानी पिता बाबा लक्ष्मण दास आर्य व माता दुर्गा बाई आर्य के घर जन्मे सत्यमित्र बख्शी बाल्य काल में ही भारत के स्वतंत्रता संग्राम का हिस्सा बन गए। 1942 में अंग्रेजों भारत छोड़ो आंदोलन के दौरान उन्हे अंग्रेजी शासन में हिरासत में लिया और नौ महीनों के लिए जेल भेज दिया। भगत सिंह के साथ किशोरी लाल के साथ सत्यमित्र बख्शी ने लाहौर जेल में नौ माह की सजा काटी। सत्यमित्र बख्शी का पूरा परिवार स्वतंत्रता सेनानी रहा।


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