धान को लगा नासूर-भूरे धब्बे का रोग, डा. अमरीक की सलाह, फसल पर जरूरत अनुसार करें कीटनाशक का छिड़काव
डा. अमरीक की सलाह, फसल पर जरूरत अनुसार करें कीटनाशक का छिड़काव
निजी संवाददाता — पठानकोट
उपायुक्त संयम अग्रवाल के निर्देशन में एवं मुख्य कृषि अधिकारी डा. हरतरनपाल सिंह के नेतृत्व में चलाए जा रहे अभियान के तहत कृषि एवं किसान कल्याण विभाग ब्लॉक पठानकोट की टीम ने वृत्त भोआ के अंचल के गांव ऐमा मुगला का दौरा किया। उन्होंने भूरे धब्बों से प्रभावित धान की फसल का भी निरीक्षण किया और किसानों को धान की पराली न जलाने के प्रति जागरूक किया। टीम में डा. अमरीक सिंह प्रखंड कृषि अधिकारी, अंशुमन शर्मा कृषि उपनिरीक्षक शामिल थे। गांव ऐमा मुगला मैं निरीक्षण के दौरान किसानों की बर्बाद हुई धान की फसल पर कहीं-कहीं नकली नासूर और भूरे धब्बे नामक बीमारी का हमला हुआ पाया गया है।
उन्होंने कहा कि जिन खेतों में पिछले वर्ष झूठे संक्रमण (हल्दी रोग) से फसल पर हमला हुआ था। उन खेतों में फसल के अंकुरण के समय अनुशंसित कवकनाशी में से एक का छिड़काव किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि जिन खेतों में यूरिया का उपयोग अनुशंसित मात्रा से अधिक किया गया है, वहां भी इस बीमारी की संभावना अधिक है। किसान इस रोग को नियंत्रित करने के लिए कीटनाशकों का छिड़काव कर रहे हैं, अगर फसल को डिस्चार्ज के बाद फूलों पर छिड़का जाता है, तो अनाज प्रभावित होकर काला हो सकता है। उन्होंने किसानों से अपील की कि किसी के अनुरोध या दृष्टि पर अनावश्यक रूप से कोई कवकनाशी या कीटनाशक का छिड़काव न करें। धान-बासमती की फसल पर ट्राईसाइक्लाजोल, बुप्रोफीजीन, प्रोपीकोनाजोल, कार्बोफुरन, थियोफेनेट मिथाइल के उपयोग पर प्रतिबंध लगा दिया गया है।
Keep watching our YouTube Channel ‘Divya Himachal TV’. Also, Download our Android App