पुलिस से सीएम नाराज, सोशल मीडिया पर अभियान चलाने पर मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कसा शिकंजा

By: Dec 3rd, 2021 12:07 am

राज्य ब्यूरो प्रमुख—शिमला

मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने हिमाचल प्रदेश पुलिस के कुछ जवानों द्वारा सोशल मीडिया पर चलाए जा रहे अभियान जस्टिस फॉर एचपी पुलिस को लेकर कड़ी चेतावनी दी है। सचिवालय में मीडिया से बातचीत में मुख्यमंत्री ने कहा कि इस तरह का अभियान चलाने वालों पर कार्रवाई हो सकती है। सरकार ने डीजीपी संजय कुंडू को कहा है कि वह इस मामले की मॉनिटरिंग करें और जरूरी एक्शन लें।गौरतलब है कि कुछ रोज पहले रविवार को पुलिस के सैकड़ों जवान मुख्यमंत्री निवास पर पहुंच गए थे और अपनी पे-बैंड के मसले को सुलझाने का आग्रह कर रहे थे। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने उस वक्त वित्त सचिव प्रबोध सक्सेना को बुलाकर इस मामले में चर्चा की और दोबारा बैठक कर मसला सुलझाने को कहा था। हालांकि तब से अब तक यह बैठक नहीं हो पाई है, न ही यह मसला सुलझा है। वित्त सचिव का कहना है कि पुलिस के अधिकारी उनके पास आए ही नहीं हैं। इस कारण इस मामले को सुलझाने में दिक्कत आई है। गुरुवार को सचिवालय में मीडिया से बातचीत में मुख्यमंत्री ने कहा कि इस मामले को सुलझाने के लिए वह जल्द निर्देश देंगे, लेकिन पुलिस जवानों द्वारा सोशल मीडिया पर अभियान चलाया जाना गलत बात है। वैसे अपनी मांग को इस तरह रखने के लिए मुख्यमंत्री निवास में एक साथ जुटना भी सही नहीं है, लेकिन क्योंकि वहां इनका व्यवहार अनुशासित था, इसलिए वह इसे ज्यादा गंभीरता से नहीं ले रहे हैं।

सीएम ने कहा कि पुलिस के कुछ लोग हाईकोर्ट गए थे और हाईकोर्ट ने यह कहते हुए इस मांग को खारिज कर दिया कि जिन नियमों को स्वीकार कर पुलिस जवान भर्ती हुए हैं, बाद में उन्हें चुनौती नहीं दे सकते। फिर भी राज्य सरकार मानवीय दृष्टिकोण से इस मसले को हल करने की कोशिश कर रही है। एक अन्य सवाल के जवाब में मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में भांग की खेती को कंट्रोल्ड तरीके से बहाल करने को लेकर कोशिशें चल रही हैं और राज्य का एक्साइज डिपार्टमेंट इस बारे में एक पॉलिसी बना रहा है। यदि सरकार ने यह अनुमति दी तो पूर्व चिन्हित स्थानों पर दी जाएगी, जहां फेंसिंग और मैपिंग की व्यवस्था पहले से हो। मुख्यमंत्री ने कहा कि कैबिनेट ने राज्य की नई इलेक्ट्रिक व्हीकल पॉलिसी को मंजूरी दे दी है और इसमें बिजली चलित वाहन खरीदने पर सबसिडी का भी प्रावधान है, लेकिन अभी राज्य में इलेक्ट्रिक व्हीकल के लिए नेटवर्क को मजबूत करना जरूरी है। इसलिए उन्होंने कहा कि इस योजना को फिलहाल पायलट आधार पर कुछ शेयरों में शुरू किया जाए।


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