कैबिनेट में जाएगा पोस्ट कोड 980 के अभ्यर्थियों का मामला

शिक्षा मंत्री ने कला अध्यापकों को दिया आश्वासन, जल्द निकलेगा परिणाम
स्टाफ रिपोर्टर — शिमला
पिछले दो सालों से बेरोजगार कला अध्यापक रिजल्ट का इंतजार कर रहे हैं, लेकिन उनका रिजल्ट अभी तक जारी नहीं हुआ है। मंगलवार को अभ्यर्थी शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर से मिले। इस दौरान शिक्षा मंत्री ने आश्वासन दिया की नौ जनवरी को होने वाली कैबिनेट की बैठक में यह मामला चर्चा के लिए लगेगा। पोस्ट कोड 980 के हजारों अभ्यर्थियों ने प्रदेश सरकार से गुहार लगाई है कि उनका रिजल्ट जल्द निकाले। इनमें से कुछ अभ्यर्थी ऐसे भी हैं, जिनकी उम्र 43 के पार हो चुकी है। कला अध्यापक के अभ्यर्थी पिछले दो साल से अपने रिजल्ट को घोषित करवाने के लिए लगातार शिमला आकर मुख्यमंत्री, मंत्रियों व अधिकारियों से बार-बार अनुरोध कर रहे हैं।
साथ ही मुख्यमंत्री ने हर बार यही आश्वासन दिया है कि जल्द ही यह रिजल्ट जारी कर दिया जाएगा, लेकिन ऐसा नहीं हो रहा। सरकार द्वारा एक कैबिनेट सब कमेटी गठित की गई। उस कमेटी द्वारा समय-समय पर मीटिंग लेकर पांच पोस्ट कोड 817, 903, 939, 977, 916 के रिजल्ट घोषित करने के लिए सिफारिश से दी गई। राज्य चयन आयोग द्वारा उनमें से पोस्ट कोड 817, 939 और 903 में दोषियों को छोड़ कर बाकियों के रिजल्ट भी घोषित कर दिए गए हैं।
सरकार के पास पहुंचेगी प्रदेश के हर स्कूल की ग्राउंड रिपोर्ट
स्टाफ रिपोर्टर — शिमला
शिक्षा विभाग में सुधार के लिए बड़े फैसले लिए गए हैं। कई बड़ी समस्याएं स्कूल स्तर पर ही दबा दी जाती हैं, लेकिन अब हर स्कूल की ग्राउंड रिपोर्ट सरकार के पास पहुंचेगी। ये शब्द समग्र शिक्षा की बैठक लेने के बाद शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने सचिवालय में कहे। उन्होंने कहा कि कोई भी शिक्षक, प्रिंसीपल या हैडमास्टर अपने कार्य में लापरवाही करता है, तो तुरंत उस पर कार्रवाई की जाएगी। इसके लिए खास निर्देश डिप्टी डायरेक्टर और स्कूल प्रशासन को दिए गए हैं। छात्र केवल पढ़ाई पर ध्यान दे सकें, इसके लिए गैर शैक्षणिक कार्यक्रमों में छात्र नहीं जाएंगे। मंत्री ने कहा कि रिक्त पदों को भरने की प्रक्रिया जारी है। 700 प्रवक्ता के पद भरे जा रहे हैं। शिक्षक भर्ती के लिए स्कूल स्तर से ग्राउंड रिपोर्ट मांगी जा रही है, ताकि सही पॉलिसी का निर्धारण हो सके। गेस्ट टीचर पॉलिसी को लेकर शिक्षा मंत्री ने जवाब दिया कि विपक्ष के समय में शिक्षा का स्तर गिरा है।
शिक्षकों की कमी इसका बड़ा कारण है। इसी कमी को पूरा करने के लिए गेस्ट टीचर भर्ती होगी। पिछली सरकार ने डिप्टी डायरेक्टर और प्रिंसीपल की प्रोमोशन नहीं की और बिना प्रिंसीपल के स्कूल और कालेज चलते रहे। सुधार के लिए सरकार ने 1 हजार 94 स्कूल मर्ज और डिनोटिफाइड किए। 675 स्कूल ऐसे थे, जहां जीरो एनरोलमेंट थी। 3400 सिंगल टीचर स्कूल थे, अब 2600 रह गए हैं। 674 बच्चों में 90 प्रतिशत बच्चे निकटवर्ती स्कूलों में हो गए हैं। इसके साथ ही कम्प्यूटर व वोकेशनल शिक्षकों पर शिक्षा मंत्री ने कहा कि इन्हें एसएमसी के तर्ज पर एलडीआर कोटा नहीं दिया जाएगा।
90 फीसदी बच्चों ने लिया दाखिला
शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने कहा कि सरकार ने 1094 स्कूल मर्ज व बंद किया है। इनमें 675 स्कूल वे हैं, जिनमें कोई भी बच्चा नहीं था। केवल वहां शिक्षक ही थे। बाकी जो स्कूल मर्ज किए हैं या बंद किए हैं, उनमें केवल 674 बच्चे थे, जिनमें से 90 प्रतिशत बच्चों ने दाखिला ले लिया है। जिन 60 प्रतिशत बच्चों ने दाखिला नहीं लिया है, उनमें ज्यादातर शिमला जिला के हैं। उपनिदेशकों को निर्देश दिए हैं कि वे इसका पता लगाएं कि उन्होंने दाखिला क्यों नहीं लिया। प्रारंभिक जानकारी जो विभाग के पास आई है, उसके अनुसार ये बच्चे प्रवासी मजदूरों के थे, जो काम के सिलसिले में यहां आते हैं और बाद में वापस लौट जाते हैं। पूरी जानकारी आने के बाद इस पर स्थिति स्पष्ट की जाएगी।
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