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डा. कुलदीप चंद अग्निहोत्री वरिष्ठ स्तंभकार प्रश्न है कि एक संगठित गिरोह को बेंगलुरू में आधी रात को यह हिंसा करके आतंक फैलाने की जरूरत क्यों पड़ी? लेकिन उससे भी बड़ा प्रश्न है कि इसके लिए किस घटना को बहाना बनाया गया? किसी दलित युवक नवीन ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट डाली जिसमें हजरत

डा. चंद्र त्रिखा वरिष्ठ साहित्यकार-पत्रकार अब इतिहासज्ञ व विशेषज्ञ इस बात को स्वीकारते हैं कि यदि थोड़ी सावधानी और सजगता से काम लिया जाता तो विभाजन की अकल्पनीय विभीषिका से बचा जा सकता था। ऐसे अनेक मंज़र सामने आए जबकि किसी एक गांव को बीच में से बांटना पड़ा। एक गांव का कुछ भाग पाकिस्तान

भूपिंदर सिंह राष्ट्रीय एथलेटिक्स प्रशिक्षक हिमाचल प्रदेश में भी अधिक से अधिक इस तरह के हाई परफॉर्मेंस केंद्र व अकादमी खोलनी होगी। इन प्रशिक्षण केंद्रों पर अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पदक विजेता प्रदर्शन करवाने वाले अनुभवी प्रशिक्षकों को उत्कृष्ट प्रदर्शन करवाने की शर्तों पर पांच वर्षों के लिए अनुबंधित करना चाहिए ताकि हिमाचल प्रदेश की संतानों

प्रो. एनके सिंह अंतरराष्ट्रीय प्रबंधन सलाहकार हालांकि इस जांच को अनुमति दी जानी चाहिए थी, किंतु बिहार पुलिस के अधिकारियों को क्वारंटाइन के नाम पर हिरासत में ले लिया गया। आपराधिक जांच के संघीय अभियान की दृष्टि से भी यह मामला बहुत महत्त्वपूर्ण है। इस मामले में महाराष्ट्र सरकार का कहना है कि इसमें सीबीआई

पीके खुराना राजनीतिक रणनीतिकार जब मैं सामाजिक व्यवस्था की बात करता हूं तो मेरी कल्पना में राजा अग्रसेन आते हैं जिनके राज्य में यह नियम था कि यदि वहां कोई बाहरी व्यक्ति आए तो राज्य का हर व्यक्ति उसे एक रुपया और एक ईंट भेंट स्वरूप देता था ताकि उन ईंटों से वह अपना घर

डा. ओपी शर्मा पूर्व निदेशक, शिक्षा छात्रों को शारीरिक क्षमता बनाए रखने के लिए शारीरिक कार्यकलाप करने होंगे। बच्चों को हॉबीज सीखनी चाहिए। इसमें संगीत, प्रश्नोत्तरी, नृत्य, नाटी, नाटक, भजन-कीर्तन, योग, अंताक्षरी, क्विज, सामान्य ज्ञान लेख-लेखन, कहानी, कविता, गीत, गजल, लोककथाएं, लोकोक्तियां, मुहावरे, लोरी, देवी-देवताओं की किंवदंतियां, हरीशचंद्र, प्रह्लाद, शिवाजी, महाराणा प्रताप, रानी झांसी, विवेकानंद

वरिंदर भाटिया पूर्व कालेज प्रिंसिपल यह राष्ट्रीय शिक्षा नीति इस लिहाज से भी काबिले-नजर है कि जितना राय-मशविरा इसे लाने से पहले किया गया है, वह पहले कभी नहीं हुआ। लाखों की तादाद में ग्राम पंचायतों, हजारों की तादाद में ब्लॉक स्तर और सैकड़ों की तादाद में जिला स्तर पर इस पूरे विषय पर चर्चा

प्रो. मनोज डोगरा लेखक हमीरपुर से हैं यह बदलाव भारत को एक शिक्षित भारत के रूप में परिवर्तित कर देगा। भारत की शिक्षा व्यवस्था में एक बात जो सबसे ज्यादा खटकती है, वह यह है कि भारत की शिक्षा में व्यावहारिक शिक्षा का अभाव है। विद्यार्थियों को ऐसा ज्ञान दिया जाता है जो उनके जीवन

भरत झुनझुनवाला आर्थिक विश्लेषक टिहरी हाइड्रो डिवेलपमेंट कारपोरेशन ने जब टिहरी बांध बनाया था तो उस समय आशा थी कि यह झील तीन सौ वर्ष में गाद से भरेगी। कारपोरेशन द्वारा ही हाल में कराए गए अध्ययन में यह बात सामने आई है कि झील 140 से 170 वर्ष में ही पूरी तरह गाद से