भ्रष्टाचार छिपाने को स्थगित किया सत्र

 शिमला —  नेता प्रतिपक्ष प्रेम कुमार धूमल ने कहा है कि विधानसभा का बजट सत्र अनिश्चितकाल के लिए जिस तरह स्थगित किया गया है, उससे स्पष्ट है कि दिल्ली हाई कोर्ट का जो फैसला आया है, उससे घबराकर यह निर्णय हुआ है। शिमला में आयोजित प्रेस वार्ता के दौरान उन्होंने कहा कि यह भ्रष्टाचार पर पर्दा डालने का प्रयास है। यह लोकतंत्र की हत्या है, दुर्भाग्यपूर्ण स्थिति है, जिस तरह से नियमों की धज्जियां उड़ाई जा रही हैं, वह निंदनीय है। उन्होंने कहा कि अभी जनहित के मुद्दे व चर्चाएं शेष थीं। प्राइवेट मेंबर-डे के दिन बजट सत्र के दौरान बहुत कम होते हैं। जिस दौरान विधायक अपने क्षेत्रों की गंभीर समस्याएं उठाते हैं। छह अप्रैल को यह निर्धारित था, मगर कांग्रेस ने इसकी भी परवाह नहीं की। इस दौरान भाजपा के कई विधायक मौजूद रहे। उन्होंने कहा कि विपक्ष कांग्रेस की इस हरकत को भोरंज उपचुनाव के साथ-साथ विधानसभा चुनावों में भी उठाएगी।  सरकार विपक्ष से चर्चा करने के बाद सहमत थी कि कार्यवाही सात अप्रैल तक चलेगी। उन्होंने कह कि तीन से सात अप्रैल तक चर्चाएं की जानी थीं। कांग्रेस ने उनसे भी बात की थी। सभी पक्ष सहमत थे कि कार्यवाही चलेगी। उन्होंने कहा कि अचानक शुक्रवार को प्रस्ताव लाया गया कि सदन को अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया जाए, जिससे स्पष्ट है कि कांग्रेस भ्रष्टचार पर पर्दा डालना चाहती है।

एक्साइज पालिसी रातों-रात बदली

प्रो. धूमल ने कहा कि एक्साइज पालिसी में रातों-रात बदलाव कर दिया गया। इसकी वजह से हजारों लोगों को बेरोजगार कर दिया गया है, जो परचून में शराब बेचते थे। बहुत से जिलों में टेंडर ही नहीं हो पाए हैं। हैरानी की बात है कि जो कारपोरेशन छह-छह महीने से थोक विक्रेताओं को शराब की सप्लाई नहीं कर पा रही है, उसे अब ठेके भी सौंपे जाएंगे। यह निंदनीय, अशोभनीय व जांच का विषय भी है।

गुणदोष पर दिए जाएंगे टिकट

प्रो. धूमल ने कहा कि कांग्रेस के कई विधायक भाजपा के संपर्क में हैं। समय आने पर इसका खुलासा किया जाएगा। उन्होंने कहा कि किसी भी दावेदार को विधानसभा चुनाव का टिकट गुणदोष के आधार पर दिया जाएगा। उन्होंने यह भी कहा कि भाजपा नेताओं के खिलाफ जो झूठे केस बनाए गए हैं, उन्हें वापस लें।