फिल्मों में करियर बनाएंगे अविनाश

कई एलबम में एडिटिंग सहित सावधान इंडिया का कर चुके हैं निर्देशन

नूरपुर— नूरपुर हलके के तहत पड़ते एक छोटे से गांव राजा का बाग में जन्मे अविनाश सेन उर्फ  एकलव्य सेन, (24 वर्ष) अब तक दस शॉर्ट फिल्में बना चुके हैं। एक साधारण परिवार में जन्में एकलव्य सेन में  बचपन से ही फिल्मों का शौक था और वह बचपन से फिल्में देख कर उनके किरदारों की नकल कर बड़े हुए एकलव्य सेन आज निर्देशन, स्ट्रोरी राइटिंग, स्क्रिप्ट तथा अभिनय भी करते हैं। अभी हाल ही में एकलव्य की एक शार्ट फिल्म रिवाज धर्मशाला में अंतरराष्ट्रीय फिल्म फेस्टिवल 2017 के लिए चुनी गई थी। एकलव्य सेन ने कालेज के दिनों में ही अपनी एक टीम बना ली थी व लगभग 30 से ऊपर नाटक भी लिखे और उसमें काम भी किया। दिसंबर 2016 के बाद एकलव्य पूरी तरह से फिल्म लाइन में आ चुके हैं, उन्होंने सोच लिया था कि अब अपने हुनर को देश-विदेश तक पहुंचने के लिए इसमें ही करियर बनाना है। एकलव्य दस शार्ट मूवी बनाने के अलावा  तीन वीडियो, दो डाक्यूमेंटरी भी बना चुके है। कई  पंजाबी एलबम में एडिटिंग भी कर चुके हैं। इससे पहले एक पहाड़ी मूवी में भी एकलव्य ने काम किया। एकलव्य  लगभग 200 स्क्रिप्ट भी लिख चुके हैं, निर्देशक के रूप में लाइफ ओके के धरावाहिक ‘सावधान इंडिया’ में भी काम कर चुके हैं। आजकल एकलव्य दो फिल्मों पर काम कर रहे हैं, जिनमें से एक है वर्कत वाला नोट तथा दूसरी है दि काऊ ब्वॉय है। ‘दिव्य हिमाचल’ से विशेष बातचीत में एकलव्य ने कहा कि फिल्म लाइन में आने की प्रेरणा उनको अपने दादा फकीर सिंह से मिली जोकि एक लेखक थे। एकलव्य ने कहा कि वह वहुत कुछ करना चाहते हैं, विशेष रूप से हिमाचल के लिए, यहां की संस्कृति के लिए,  लेकिन दुख है की कलाकार को सरकार की ओर से न तो यहां कोई मंच मिलता है और न ही कोई सहयोग। उन्होंने इच्छा जाहिर की यदि  हिमाचल में कलाकारों के लिए सरकार कुछ बेहतरीन कार्य करे।