कराधान उन नागरिकों पर कर लगाने और वसूल करने की प्रक्रिया है, जो सरकार द्वारा निर्धारित कर सीमा के अंतर्गत आते हैं। कर आरोपण और वसूली की प्रक्रिया केंद्रीय-राज्यीय अथवा स्थानीय किसी भी स्तर पर हो सकती है। कराधान एक विस्तृत क्षेत्र है। इसके अंतर्गत टैक्स एकत्रित करना, इन्कम टैक्स रिटर्न फाइल करना, कंपनियों से टैक्स वसूली तथा टैक्स से संबंधित अन्य कानूनी पहलुओं का समावेश होता है…
टैक्सेशन क्या है?
टैक्सेशन एक ऐसी प्रक्रिया है, जिसमें आय प्राप्त करने वाले व्यक्तियों से टैक्स वसूल किया जाता है। यह टैक्स केंद्र सरकार, राज्य सरकार या राज्य की किसी अथारिटी, जैसे म्युनिसिपलिटी या लोकल काउंसिल द्वारा लिया जाता है।
विदशों में भी डिमांड
भारत के अलावा विदेश में भी इस क्षेत्र में रोजगार के बेहतर अवसर हैं। विदेशों में भी बड़ी-बड़ी कंपनियां योग्य प्रोफेशनल्ज को अपने यहां काम देती हैं। इन कंपनियों में वेतनमान भी अच्छा दिया जाता है।
शैक्षणिक योग्यता
भारत के कई कालेजों और विश्वविद्यालयों द्वारा टैक्सेशन में कोर्स करवाए जाते हैं। अंडर ग्रेजुएट स्तर के कोर्स करने के लिए छात्र का किसी मान्यता प्राप्त बोर्ड से बारहवीं पास होना अनिवार्य होता है। पोस्ट ग्रेजुएट कोर्स के लिए संबंधित विषय में ग्रेजुएट होना जरूरी होता है। आईएएस अफसर या कस्टम, इन्कम टैक्स अफसर बनने के लिए प्रवेश परीक्षा से हो कर गुजरना पड़ता है।
वेतनमान
टैक्सेशन के क्षेत्र में वेतनमान अलग-अलग संस्था में अलग-अलग होता है। फिर भी इस क्षेत्र में 2 से 5 लाख तक सालाना कमाया जा सकता है। अनुभव होने के साथ-साथ वेतनमान भी बढ़ता जाता है। विदेशी कंपनियों में तो वेतन कई गुना ज्यादा होता है।
जरूरत ने बढ़ाया विस्तार
सरकार को अपने टैक्स वसूली के लिए या फिर प्राइवेट कंपनियों को अपने सरकार को अदा करने वाले टैक्स का हिसाब- किताब देखने के लिए इन प्रोफेशनल की मांग काफी बढ़ा दी है। टैक्स किसी भी सरकार के लिए, चाहे वह केंद्र सरकार हो या प्रदेश सरकार, महत्त्वपूर्ण भूमिका अदा करता है। जरूरी विकास के लिए पैसा इस प्रक्रिया से भी आता है। अतः इस कार्य क्षेत्र की डिमांड बढ़ना स्वाभाविक है।
रोजगार के अवसर
पब्लिक सेक्टर में हमेशा ही उन योग्य प्रोफेशनल्ज की आवश्यकता होती है, जिन्होंने टैक्सेशन के क्षेत्र में बेहतर परफार्मेंस दी हो। इस क्षेत्र में योग्य प्रोफेशनल संबंधित संगठनों में एक टैक्स अकाउंटेंट, इंप्लाइमेंट टैक्स स्पेशलिस्ट, स्टेट लोकल टैक्स अटार्नी स्पेशलिस्ट, टैक्स पालिसी एनालिस्ट, टैक्स रिक्रूटर, टैक्स एग्जामिनर, कलेक्टर और रेवेन्यू एजेंट के रूप में अच्छा रोजगार प्राप्त कर सकते हैं। सरकारी क्षेत्र में भी रोजगार की कई संभावनाएं हैं।
कोर्सेज
डिप्लोमा इन टैक्सेशन
बी कॉम इन टैक्सेशन एंड अकाउंटिंग
सर्टिफिकेट कोर्स इन टैक्सेशन
डिप्लोमा इन इन्कम टैक्स एंड कंपनी लॉ
एम कॉम इन फाइनांस एंड टैक्सेशन
एमबीए इन टैक्सेशन मैनेजमेंट
बैचलर डिग्री इन अकाउंटिंग एंड टैक्सेशन
स्पेशलाइज्ड प्रोग्राम इन टैक्स एंड रेगुलेटरी मैनेजमेंट
कॉरेसपोंडेंस कोर्स इन फाइनांशियल अकाउंटिंग एंड टैक्सेशन
प्रशिक्षण संस्थान
दिल्ली यूनिवर्सिटी, दिल्ली
इंडियन मैनेजमेंट ट्रेनिंग एंड रिसर्च इंस्टीच्यूट, जालंधर
गुरु नानक देव यूनिवर्सिटी, अमृतसर
इंदिरा गांधी नेशनल ओपन यूनिवर्सिटी, चंडीगढ़
फरीदाबाद इंस्टीच्यूट ऑफ मैनेजमेंट स्टडीज, फरीदाबाद
इंडियन इंस्टीच्यूट ऑफ फाइनांशियल मैनेजमेंट, नई दिल्ली
सेंट जेवियर कालेज कोलकाता, पश्चिम बंगाल
सेंट पीटर्ज कालेज, केरल