मीरा वालिया प्रकरण में सुनवाई पहली मई को

 शिमला— भ्रष्टाचार के आरोपों में संलिप्त रही मीरा वालिया को लोक सेवा आयोग का सदस्य बनाने को चुनौती देने वाली याचिका पर हाई कोर्ट में सुनवाई पहली मई तक टल गई है। प्रार्थी हेम राज द्वारा दायर याचिका कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश संजय करोल और अजय मोहन गोएल  की खंडपीठ के समक्ष सुनवाई के लिए रखी गई थी। याचिका में आरोप लगाया गया है कि मीरा वालिया की नियुक्ति नियमों को ताक पर रखकर की गई है। याचिका में दलील दी गई कि मीरा वालिया के खिलाफ वर्ष 2008 में भ्रष्टाचार निरोधक अधिनियम की धारा 13(1)(ई) और 13(2) के तहत स्टेट विजिलेंस एंड एंटी क्रप्शन ब्यूरो शिमला में प्राथमिकी दर्ज की गई थी और इस बारे में विशेष जज (वन) की अदालत में चलान भी पेश कर दिया गया था। वर्ष 2013 में अनुपूरक रिपोर्ट विशेष जज (वन) की अदालत में स्टेट विजिलेंस एंड एंटी क्रप्शन ब्यूरो ने पेश की, जिसके आधार पर मीरा वालिया को नौ सितंबर, 2014 को डिस्चार्ज कर दिया गया था। आरोप लगाया गया है कि सरकार ने तथ्यों को नजरंदाज कर मीरा वालिया की नियुक्ति प्रदेश पब्लिक सर्विस कमीशन में बतौर सदस्य की है, जो कि सरासर गलत है। प्रार्थी ने गुहार लगाईं है कि मीरा वालिया की नियुक्ति रद्द की जाए।

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