सियाचिन पहुंच राष्ट्रपति ने बढ़ाया सैनिकों का मनोबल

श्रीनगर — राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने गुरुवार को दुनिया के सबसे ऊंचे रणक्षेत्र लद्दाख क्षेत्र के सियाचिन ग्लेशियर पर पहुंचकर वहां तैनात सैनिकों का मनोबल बढ़ाया। सियाचिन में तैनात सैनिकों के साहस की सराहना करते हुए उन्होंने कहा कि सैनिकों के हित सर्वोपरि हैं। सेना के प्रवक्ता कर्नल देवेंद्र ने बताया कि राष्ट्रपति ने सियाचिन पहुंचने के बाद ग्लेशियर का हवाई सर्वेक्षण किया। उन्होंने सियाचिन ग्लेशियर की अग्रिम चौकियों पर तैनात सैनिकों के साथ बातचीत भी की। राष्ट्रपति ने सियाचिन आधार शिविर में सियाचिन युद्ध स्मारक पर पुष्प अर्पित किए और मातृभूमि की रक्षा के लिए अपनी जान गंवाने वाले बहादुर जवानों को श्रद्धांजलि दी। श्री कोविंद पूर्व राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम के बाद सियाचिन क्षेत्र का दौरान करने वाले दूसरे राष्ट्रपति हैं। श्री कलाम ने अप्रैल 2004 में यहां का दौरा किया था। श्री कोविंद के साथ सेना प्रमख जनरल बिपिन रावत और उत्तरी कमान के प्रमुख लेफ्टिनेंट जनरल देवराज अन्बू भी थे।

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