हर महीने 23 रेप, चार मर्डर

 पालमपुर —कभी शांत मानी जाने वाली देवभूमि में अपराध का ग्राफ बढ़ता जा रहा है।  साल 2019 के पहले पांच महीनों में प्रदेश में रेप के 115 मामले दर्ज किए जा चुके हैं, तो महिलाओं से छेड़छाड़ के 186 मामले सामने आ चुके हैं। यानी प्रदेश में हर माह औसतन 23 महिलाएं रेप का शिकार हो रही हैं तो 37 महिलाएं छेड़छाड़ की शिकायत लेकर थाने पहुंच रही हैं। मई माह तक रेप के सबसे ज्यादा 23 मामले जिला शिमला में दर्ज हुए हैं, तो जिला मंडी में 15, जिला सोलन में 14 और जिला कांगड़ा में रेप के 13 मामले सामने आए हैं। वहीं, इस दौरान महिलाओं से छेड़छाड़ के 186 और महिलाओं के खिलाफ हिंसा के 86 मामले विभिन्न थानों में दर्ज हुए हैं। पांच महीने में महिलाओं के साथ छेड़छाड़ के सबसे अधिक 36 मामले जिला मंडी में दर्ज किए गए हैं, तो महिलाओं के साथ हिंसा के सबसे ज्यादा 21 मामले भी जिला मंडी में ही सामने आए हैं। जिला कांगड़ा में छेड़छाड़ के 33 तो जिला शिमला और सिरमौर में 24-24 मामले दर्ज किए गए हैं। मई महीने तक प्रदेश में हत्या के 19 तो हत्या के प्रयास के 20 मामले विभिन्न थानों में दर्ज किए गए हैं।  चंबा में पांच तो जिला कांगड़ा और सोलन में हत्या की तीन-तीन वारदातें हुई हैं। हमीरपुर, किन्नौर और शिमला में मर्डर का कोई मामला सामने नहीं आया है। पहले पांच माह में प्रदेश में एनडीपीएस की विभिन्न धाराओं के तहत 537 मामले दर्ज किए जा चुके हैं। जिला मंडी में एनडीपीएस मामलों के 78, जिला कांगड़ा में 76 तो शिमला में 75 मामले 31 मई तक दर्ज हो चुके हैं। वहीं एक्साइज एक्ट की विभिन्न धाराओं के तहत 1373 मामले दर्ज किए जा चुके हैं। बहरहाल पांच महीनों के आंकड़े  कानून व्यवस्था पर सवाल उठा रहे हैं।

1168 दुर्घटनाएं, 430 की मौत

इस साल मई तक प्रदेश में 1168 सड़क दुर्घटनाओं में 430 लोग जान गंवा चुके हैं, जबकि घायलों का आंकड़ा 2155 रहा है। जिला कांगड़ा में पांच माह में ही सड़क दुर्घटनाओं का ग्राफ 200 की संख्या को पार कर गया है। कांगड़ा में सड़क दुर्घटनाओं से संबंधित 202, जिला शिमला में 195, जिला मंडी में 155 और जिला सिरमौर में 110 मामले सामने आए हैं।