एक्सपेरिमेंट हम शुरू से कर रहे हैं

बालीवुड अभिनेता आशुतोष राणा पुरानी फिल्मों से लेकर आज भी बेहतरीन अंदाज में कहीं वेब सीरीज  तो कहीं  फिल्मों में दिख रहे हैं । बता दें कि आशुतोष राणा एक ऐसे अभिनेता हैं जो हर प्लेटफॉर्म पर अभिनय करते हैं। आशुतोष राणा के साथ इंटरव्यू के दौरान हुई बातचीत में उन्होंने अपनी आगामी फिल्म और उनके अभिनय की कुछ बेहतरीन बातें कीं। उनके साथ हुए इंटरव्यू के मुख्य अंश पेश हैं…

अभी आप कौन से प्रोजेक्ट में व्यस्त हैं?

मेरी एक फिल्म है ‘चिकन करी लो’ जो अगस्त में रिलीज होगी। यह फिल्म एक कोर्ट रूम ड्रामा है, इस फिल्म को शेखर सरीन द्वारा डिरेक्ट किया गया है। जिनमें मेरी को ऐक्टर्स है नतालिया एक पोलिश ऐक्टर्स है, इसके अलावा एक और फिल्म है जो यशराज प्रोडक्शन बना रहा है उस फिल्म को सिद्धार्थ आनंद डिरेक्ट कर रहे हैं जिनमे टाइगर श्रॉफ , ऋत्विक रोशन भी हैं और वेब सीरीज भी कर रहा हूं जिसका नाम ‘छत्रपाल’ है जो एक क्राइम थ्रिलर है।

आप हर तरह के प्लेटफॉर्म पर काम करते हैं बल्कि कुछ कलाकार बड़े प्लेटफॉर्म पर ज्यादा ध्यान देते हैं, कितना मुश्किल होता है हर तरह के प्लेटफॉर्म पर काम करना?

मुझे लगता है कि एक्टर के लिए कोई भी प्लेटफॉर्म मुश्किल नहीं होता भले ही आप थियेटर करें, फिल्म करें या वेब सीरीज करें। आपको करना तो परफॅर्म ही है, अगर आप अच्छा परफॉर्म नहीं करेंगे,तो ऑडियंस आपको पसंद नहीं करेगी। अगर आप अच्छा परफॉर्म कर रहे हो तो किसी भी मीडियम में काम करें आपको लोग पसंद करेंगे, तो परफॉर्मेंस एक्टर के लिए बहुत जरूरी होता है कनेक्टिविटी ऑडियंस के साथ बहुत जरूरी होती है, ऑडियंस को आपका काम पंसद आए यह बहुत जरूरी होता है। और जब तक ऑडियंस आपके परफॉर्मेंस को पंसद नहीं करेगी तो आप किसी भी मीडियम में काम करले प्रभावशाली नही रहेंगे।

अभिनय के साथ लेखन की ओर कदम रखने का विचार कैसे आया?

मुझे लगता है में उन भाग्यशाली और उन एक्टर्स में से हूं जिसने लेखन में ऑटोबायोग्राफी नहीं लिखी फिक्शन का इस्तेमाल किया है। कही लोगों ने मोन मुश्कान मार नाम की जो मेरी बुक थी वह बेस्ट सेलर थी, ऑटोमेटिक लोगों ने उसे बहुत पंसद किया, उसके अंदर सत्ताईस कहानियां है और लिखना मुझे पहले से ही अच्छा लगता है, एक और किताब लिख रहा हूं जिनका नाम है ‘राम राज्य’ जो रामायण को राज के परपेस्टिव को देखते हुए लिख रहा हूं और मुझे पूरा विश्वास है जैसे मेरी लास्ट किताब को लोंगो ने पंसद कीया वैसे ही मेरी यह किताब को भी पंसद करेंगे। मैं भाग्यशाली हूं कि ईश्वर ने मुझे बोलने, करने और लिखने का हुनर दिया।

कई कलाकारों का कहना था कि वह बनना कुछ और चाहते थे, लेकिन बन कुछ और जाते हैं, आपने भी कुछ और बनना था?

नहीं मेरा एज्युकेशन भी एक्टिंग रहा है और एनएसडी से हूं जिनका प्रोफेशन भी एक्टिंग है और पेशन एक्टिंग रहा है, तो पेशन, एज्युकेशन और प्रोफेशन हमारी लिए तीनो एक्टिंग हैं हमारे लिए ऐसा कभी नहीं हुआ कि करना कुछ ओर चाहते थे कर कुछ ओर रहे हैं, हम जो करना चाहते थे वही हम सके रहे हैं।

नए कलाकारों के साथ आप काम करते हो तो उन्हें क्या गाइडलाइंस देते हैं ?

नई लोग मुझे ही एडुकेट करते रहते हैं में उसे यह सीखता हूं और सलाह भी देता हूं कि आप समय को अपने हिसाब से  नहीं बदल सकते, लेकिन अपने आपको समय के हिसाब से जरूर बदल सकते हो तो समय के साथ चलना सीखिए, समय को अपने साथ चलाना मत सीखिए।

पहले के किरदारों से आज के किरदारों में क्या फर्क देखते हैं?

मैं यह मानकर चलता हूं कि पहले मैं किरदार करता था वह मेरे जैसे दो चार लोग ही किया करते थे, उस समय वह किरदार ऑफबीट हुआ करते थे, अब वह कैरेक्टर इनबिट हो गई है, अब वह मेंईन हिंस्ट्री में आ गए हैं पहले हम दो चार लोग ही करते थे,  अब मैं देख रहा हूं कि सारे लोग वही कर रहे हैं और कायदे से देखा जाए तो हमारा टाइम आया है, पहले इनमार्केट नहीं माना जा रहा था अब वह इनबिट माना जा रहा है। अगर देखा जाए तो एक्सपेरिमेंट हम शुरू से कर रहे हैं अब वह एक्सपेरिमेंट मेइन हिस्ट्री में आ गए हैं।

असफलता को पॉजिटिव कैसे लेते हैं?

मेरा मानना है कि यदि आप सफलता प्राप्त करना चाहते हैं तो आपको असफल होने के लिए तैयार रहना होगा। अगर आप रिजेक्शन के लिए मुरीद है जो आपका गोल है तो आपको रिजेक्शन के लिए तैयार होना होगा। क्योंकि यह एक ही सिक्के के दो पहलू है। दूसरा यह है अपनी सफलता को सामने वाले पर मत डालिए, क्योंकि सामने वाला कह दे आपका काम अच्छा है तो आपको अच्छा लग गया। मेरा यह मानना है कि आपको खुद पता होता है कि आपने उस काम को कितना होनेस्टली किया। अच्छे काम से महत्त्वपूर्ण है सच्चा काम।               —दिनेश जाला