सरकारी बाबू की अपनी फीस ही लाखों

विजिलेंस ने कुछ ही महीने में घूस लेते धरे सात आरोपी, खुलेआम घूम रहे कई

धर्मशाला – सरकारी कार्यालयों से विजिलेंस ने शिकायतों के आधार पर कार्रवाई करते हुए कुछ ही माह में सात रिश्वतखोर अधिकारियों-कर्मचारियों को गिरफ्तार किया है। सरकारी विभागों के अधिकारी-कर्मचारी बेहतरीन वेतन पाने के बावजूद ईमान बेच रहे हैं। विजिलेंस सूत्रों के अनुसार सरकार के विभागों के कार्यालयों में रिश्वतखोर अधिकारियों ने लाखों रुपए अपनी ही फीस रखी हुई है, जिसमें नाममात्र हाथ आए हैं, जबकि अब भी कई खुलेआम घूम रहे हैं, जिनके खिलाफ भी विजिलेंस बड़ी कार्रवाई करने की फिराक में है। राज्य सतर्कता एवं भ्रष्टाचार रोधी ब्यूरो उत्तरी क्षेत्र धर्मशाला ने बुधवार को नूरपुर में एक और रिश्वतखोर रिटायर्ड काननूगो उर्दू ट्रांसलेटर को रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया है। रिटायर्ड अधिकारी भी कार्यालयों में काम करने की एवज में बड़ी रकम की वसूली कर रहे हैं, मिली सूचना के अनुसार रिटायर्ड कानूनगो ने पांच हज़ार रुपए की शिकायतकर्ता से रिश्वत मांगी थी। इससे पहले प्रदेश के दूसरे नगर निगम धर्मशाला के जुनियर इंजिनियर जेई जोगिंद्र सिंह को पिछले सप्ताह गुरुवार को एक लाख रुपए रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया गया था। इतना ही नहीं शिकायतकर्ता ने जेई से एक लाख पहले लिए जाने का भी आरोप लगाया है। विजिलेंस में अब अन्य मामलों में भी रिश्वत लेने और मंहगे गिफ्ट को लेकर आय से अधिक संपत्ति मामले में भी जांच शुरू कर दी है। इसके पहले पंचरूखी ब्लॉक के तहत जंसाल के प्रधान आशा देवी को एक लाख रुपए रिश्वत लेते हुए पकड़ा गया था। कानून का पालन करवाने वाले पुलिस विभाग के डीएसपी ज्ञान चंद को भी विजिलेंस ने 45 हजार रुपए रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया था, जिसे लेकर जांच चल रही है। इससे पहले वाइल्ड लाइफ विभाग के फोरेस्ट गार्ड रमेश कुमार को 90 हजार रुपए रिश्वत के साथ हिरासत में लिया गया था। रेवेन्यू डिपार्टमेंट के पटवारी सुभाष चंद को पांच हजार और शिक्षा विभाग के अधीक्षक हरबंस लाल को अपने ही विभाग के प्रिंसीपल से चार हजार रुपए रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों पकड़ा गया था।

पहुंच रही कई शिकायतें

विजिलेंस ने कुछ ही माह में सात मामले सरकारी विभागों के अधिकारियों-कर्मचारियों के रिश्वत के पकड़े हैं। वहीं, सूचना के अनुसार विजिलेंस के पास अन्य कई अधिकारियों-कर्मचारियों की भी शिकायतें पहुंच रही हैं। अब विजिलेंस ने सरकारी विभागों में कड़ा शिकंजा की योजना के तहत कार्य करना शुरू कर दिया है। इसकी जद में अब कई और अधिकारी-कर्मचारी भी रिश्वत लेने की जद में आएंगे।