प्रदेश भर में खुलेंगे सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल

एक एमओयू हुआ साइन, हिमाचल प्रदेश में अपग्रेड किया जाएगा हेल्थ स्टैंडर्ड 

शिमला  – प्रदेश में निजी सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल खोलने के रास्ते और साफ होने लगे हैं। जानकारी के मुताबिक प्रदेश सरकार को तीन कंपनियों ने निजी अस्पताल खोलने लिए आवेदन किए हैं, जिसमें एक कांगड़ा, एक शिमला और एक सोलन के लिए आवेदन हैं। हालांकि अभी आवदेनों की तय शर्तों के मुताबिक कंपनी का पूरी तरह विश्लेषण किया जाएगा, जिसमें प्रदेश सरकार यह फाइनल करेगी कि किस तरह से यह लाभ जनता को मिल सकता है। गौर हो कि इस योजना के तहत अभी एक एमओयू साइन हो गया है। इसके बाद अब ये तीन आवेदन आने की सूचना है। प्रदेश में हेल्थ स्टैंडर्ड को अपग्रेड करने के लिए स्वास्थ्य में सहभागिता योजना की अधिसूचना जारी करने के बाद अब प्रदेश में निजी अस्पताल खोलने की प्रक्रिया तेजी से शुरू हो गई है। अधिसूचना में साफ हुआ है कि सुपर स्पेशियलिटी में कार्डियोलोजी, न्यूरोसर्जरी, पीडियाट्रिक, सर्जरी, प्लास्टिक सर्जरी या अन्य कोई भी सुपर स्पेशियलिटी सर्विसेज खोली जा सकती हैं। निजी स्वास्थ्य सेवा प्रदाताओं से इस योजना के अतंर्गत अपनी अधिक सहभागिता बढ़ाने का आह्वान भी प्रदेश सरकार ने किया है, ताकि प्रदेशवासियों को घर द्वार के करीब उत्कृष्ट एवं गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध करवाई जा सकें।

दस किलोमीटर के दायरे में दिया जा रहा लाभ

इस योजना के अतंर्गत सरकारी क्षेत्रीय अस्पताल व आंचलिक अस्पताल अथवा योजना के तहत खोले गए अन्य निजी अस्पताल के दस किलोमीटर के दायरे से बाहर कोई भी निजी स्वास्थ्य संस्थान खोला जा सकता है। खोले जाने वाले बहुविशेषज्ञ अस्पताल के लिए दो करोड़ रुपए का निवेश करने पर 25 प्रतिशत पूंजीगत अनुवृति  देने का प्रावधान है। इसके अतिरिक्त डेढ़ करोड़ रुपए के ऋण पर पांच प्रतिशत इंट्रस्ट सबसिडी तीन वर्ष के लिए दी जाएगी। सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल कहीं पर भी खोला जा सकता है, जिसमें दस किलोमीटर की बाध्यता नहीं होगी तथा 25 प्रतिशत केपिटल सबसिडी का प्रावधान पांच करोड रुपए के निवेश तक प्रदान किया जाएगा। इसके साथ ही सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल के लिए पांच प्रतिशत इंट्रस्ट सबसिडी तीन करोड़ रुपए के ऋण के लिए तीन वर्ष तक प्रदान की जाएगी।