प्रदेश में भी बनेगी फ्यूल पॉलिसी

शिमला  – प्रदेश में फ्लूय पॉलिसी बनेगी। नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल के तहत प्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड एक ऐसी पॉलिसी लाने जा रहा है, जिसमें कोक फ्यूल के स्थान पर किसी अन्य फ्यूल का इस्तेमाल तय किया जाने वाला है। इसके लिए बोर्ड द्वारा अपनी वेबसाइट पर स्टेक होल्डर्ज से कमेट मांगें गए थे। इसमें कई कमेंट्स आए हैं। जानकारी के मुताबिक इस पॉलिसी को बनाने के लिए प्रदेश एक ड्राफ्ट बना चुका है, जिसको लेकर ही कमेंट मांगे गए थे। सूचना है कि 40 से अधिक कमेंट्स पहुंच चुके हैं। प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने यह भी साफ किया था कि यदि कोई ऑनलाइन कमेंट नहीं देना चाहता था तो उनकी  स्टेक होल्डर के साथ बैठक आयोजित की गई । गौर हो कि नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल की ओर से सभी राज्यों को कहा गया है कि फ्यूल पॉलिसी को जल्द बनाया जाए। इसको लेकर प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने भी प्रदेश में ईंधन पर स्टडी करके एक  ड्राफ्ट तैयार कर लिया है। इसको लेकर ही स्टेकहोल्डर्स से इस पर बातचीत की जानी तय की गई थी। हालांकि बोर्ड ने यह साफ किया है कि राज्य में क ोयले के ईंधन का इस्तेमाल बहुत ही कम किया जा रहा है, लेकिन फिर भी समय रहते तैयारियों को लेकर पॉलिसी के निर्माण के लिए ड्राफ्ट तैयार किया जा रहा है। बताया जा रहा है कि राज्य में उद्योगों द्वारा ही सबसे ज्यादा कोक फ्यूल का इस्तेमाल किया जा रहा है, जिसे इस ड्राफ्ट में मुख्यतौर पर शामिल किया गया है। ड्राफ्ट में ईंधन के विभिन्न विकल्पों को सुझाया गया है। बोर्ड के मुताबिक यदि कोक से निकलने वाला सल्फर डाईआक्साइड ज्यादा हो तो सांस के रोगों की संभावना ज्यादा हो जाती है। फिलहाल इस पॉलिसी को प्रदेश सरकार को सौंपा जाएगा। उसके बाद हिमाचल इसे एनजीटी को सौंपेंगी।